Left Banner
Right Banner

किसानों की मुस्कान ही हमारी दिवाली… CM मोहन यादव ने ₹653.34 करोड़ किए ट्रांसफर

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा कि किसानों की सेवा भगवान की सेवा है. बाढ़, आपदा, ओलावृष्टि या कीट प्रकोप हो, किसान भाई हर विपदा से लड़ते और जूझते हैं. किसान पर कोई भी विपदा या आपदा आए सरकार संकट की हर घड़ी में साथी बनकर किसानों के साथ खड़ी है. मुख्यमंत्री ने किसान खुद के अकेले नहीं समझें, पूरा परिवार बनकर हम आपके साथ हैं. आपकी खुशी में ही प्रदेश की खुशी है.

उन्होंने कहा कि हर प्रकार की आपदा और कीट प्रकोप से फसलों को हुई क्षति की राहत राशि किसानों को दी जाएगी. ये राहत राशि किसानों को बड़ा संबल देगी.mohan yadav  कहा कि जब तक आखिरी पीड़ित किसान को सहायता राशि नहीं मिल जाती, हमारी सरकार चैन से नहीं बैठेगी. उन्होंने कहा कि किसानों के चेहरों की मुस्कान ही हमारी असली दीपावली जैसी है. किसानों की मेहनत और जज्बा फिर से उनके खेतों को जीवन और समृद्धि से भर देगा.

तेरह जिलों के किसानों को राहत राशि का वितरण

शुक्रवार को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने अपने निवास समत्व भवन में अतिवृष्टि-बाढ़ और सोयाबीन में पीला मोजेक रोग से हुए फसल नुकसान के लिए 13 प्रभावित जिलों के किसानों को मदद राशि दी. उन्होंने 8 लाख 84 हजार 772 किसानों को 653.34 करोड़ की राहत राशि सिंगल क्लिक के माध्यम से किसानों के बैंक खातों में अंतरित की. मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बताया कि इसमें अतिवृष्टि/बाढ़ से हुई फसल क्षति से प्रभावित 3 लाख 90 हजार 167 किसानों को 331.34 करोड़ रूपये एवं पीला मोजेक/कीट व्याधि से हुई फसल क्षति से प्रभावित 4 लाख 94 हजार 605 किसानों को 322 करोड़ रुपये की राहत राशि शामिल है.

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि सभी पीड़ित किसान भाइयों को राहत राशि देने और फसल सर्वे के कार्य में पूरी पारदर्शिता बरती जा रही है. किसानों के चेहरे की खोई मुस्कान लौटाना हमारी पहली प्राथमिकता है. उन्होंने कहा कि सरकार ने 4 हजार रुपए प्रति हेक्टेयर की दर से 6 लाख 69 हजार से अधिक धान उत्पादक किसानों के खाते में 337 करोड़ रुपए से अधिक की राशि का अंतरण किया है. सोयाबीन उत्पादक किसानों के लिए भी भावान्तर योजना शुरू की गई है. फसल के विक्रय मूल्य और न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के अन्तर की राशि सरकार सीधे किसानों को देगी. हम किसानों का कोई नुकसान नहीं होने देंगे.

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने संतोष व्यक्त करते हुए कहा कि वर्ष 2025-26 में अब तक विभिन्न प्राकृतिक आपदाओं से प्रभावित लोगों को विभिन्न मदों में कुल 229 करोड़ 45 लाख रुपये की सहायता राशि दी जा चुकी है. गत माह 6 सितंबर को ही फसल क्षति के लिए 11 जिलों के 17 हजार से अधिक किसानों को 20 करोड़ से अधिक की राहत राशि दी थी. मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि प्रदेश के इतिहास में पहली बार राज्य सरकार द्वारा सोयाबीन में पीले मोजेक रोग से फसल प्रभावित किसानों को राहत राशि दी जा रही है.

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने किसानों से कहा कि सोयाबीन मंडी में बेचें, यदि एमएसपी से कम राशि में फसल बिकती है, तो बेची गई फसल की कीमत और एमएसपी के अंतर की राशि यानि भावांतर की राशि अगले 15 दिनों में सीधे किसानों के बैंक खाते में भेज दी जाएगी. मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि वैश्विक परिदृश्य को देखते हुए किसानों को इस साल सोयाबीन का अत्यधिक भाव मिलेगा. इस बार सोयाबीन की एमएसपी 500 रुपए से अधिक बढ़कर 5328 रुपए हो गई है. केंद्र सरकार ने गेहूं की फसल के लिए फिर से एमएसपी बढ़ाई है. यह राज्य सरकार के किसानों की समृद्धि के संकल्प को पूरा करने की दिशा में लाभकारी रहेगा.

केला किसानों को प्रति हेक्टेयर 2 लाख की राहत राशि

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि बुरहानपुर जिले के केला उत्पादक अतिवृष्टि प्रभावित किसानों को 3.39 करोड़ रूपए मुआवजा राशि दी गई है. किसान श्री पांडुरंग बिट्ठल और विनोद पुंडलिक ने कहा कि यहां के केला उत्पादक किसानों को लगभग 2 लाख प्रति हेक्टेयर का मुआवजा दिया जा रहा है और इससे बड़ी राहत हो गई है. शहडोल जिले के सोयाबीन उत्पादक पीला मोजेक प्रभावित 8935 किसानों को 6.36 करोड़ रूपए मुआवजा राशि मिली है.

मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने सिवनी जिले के जनप्रतिनिधियों से भी चर्चा की. बताया गया कि यहां मकान ढहने से प्रभावित एक किसान को 92 हजार रूपए की राहत राशि मिली है. मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने राहत राशि पाने वाले सभी किसानों से कहा कि शेष प्रभावित जिलों के किसान निराश न हो, वहां अभी सर्वे चल रहा है और सर्वे पूरा होते ही राहत राशि दी जाएगी. राहत राशि वितरण कार्यक्रम में राजस्व मंत्री करण सिंह वर्मा, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री कार्यालय नीरज मंडलोई, आयुक्त राजस्व अनुभा श्रीवास्तव सहित विभागीय वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे.

Advertisements
Advertisement