शिक्षा नहीं, दहशत का केंद्र बने स्कूल – सुपौल की घटना ने किया शर्मसार

सुपौल:  जिले में दो स्कूलों के बीच एक अजीबोगरीब मामला सामने आया है. इस मामले में स्कूली बच्चों व शिक्षक की पिटाई होने का मामला सामने आया है. फिलहाल जख्मी स्कूली बच्चों का इलाज अस्पताल में चल रहा है. आपको बता दे की जिले के राघोपुर थाना क्षेत्र स्थित नगर पंचायत सिमराही में दो निजी स्कूलों के बीच हुए विवाद ने हिंसक रूप ले लिया.

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जानकारी के अनुसार, विद्या मंदिर शिक्षण केंद्र के दो छात्र आनंद कुमार और आशिष कुमार सामान लेने निकले थे. इसी दौरान ऑफिसर पब्लिक स्कूल के व्यवस्थापक राकेश कुमार मेहता ने दोनों छात्रों को जबरन पकड़ लिया और अपने स्कूल में बंद कर दिया.

 

 

इसकी सूचना किसी ने फोन पर विद्या मंदिर स्कूल के व्यवस्थापक सुमित कुमार को दी. उन्होंने तत्काल राकेश मेहता से संपर्क किया तो जवाब मिला कि “बच्चे मेरे स्कूल में घुस आए थे.” जब सुमित कुमार कुछ लोगों के साथ वहां पहुंचे, तो बच्चों को छोड़ दिया गया. इस घटना की जानकारी उन्होंने अपने मकान मालिक को भी दी.

 

 

सुमित कुमार, उनके मकान मालिक और दोनों छात्र फिर से ऑफिसर पब्लिक स्कूल पहुंचे ताकि मामले की सच्चाई जान सकें. बातचीत के दौरान राकेश मेहता अचानक उग्र हो गया और लोहे की रॉड से विद्या मंदिर स्कूल के शिक्षक सुमित कुमार, छात्र आनंद कुमार और आशिष कुमार पर हमला कर दिया. मारपीट में छात्र आनंद कुमार का सिर फट गया.

 

घायलों को आनन-फानन में रेफरल अस्पताल राघोपुर लाया गया, जहां डॉक्टरों ने प्राथमिक उपचार के बाद छात्र आनंद कुमार की गंभीर स्थिति को देखते हुए बेहतर इलाज के लिए बाहर रेफर कर दिया. शिक्षक सुमित कुमार और छात्र आशिष कुमार का इलाज जारी है.

 

हद तो तब हो गई जब हमलावर व्यवस्थापक राकेश मेहता खुद अस्पताल पहुंचा और वहां मौजूद समझाने आए लोगों से भी मारपीट करने लगा.

 

इस घटना ने शिक्षक के पेशे को शर्मसार कर दिया है. समाज को ज्ञान देने वाले शिक्षक की जगह जब इस तरह का व्यवहार सामने आता है, तो यह पूरे शिक्षा तंत्र पर बड़ा सवाल खड़ा करता है.

 

राघोपुर थानाध्यक्ष ने बताया कि आवेदन अप्राप्त है, आवेदन मिलने पर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.

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