केंद्र सरकार ने आधार कार्ड और पैन कार्ड का डेटा लीक करने वाली 3 वेबसाइट्स को ब्लॉक कर दिया है. सूत्रों का कहना है कि ये वेबसाइट्स स्टार हेल्थ का लीक डेटा अपनी वेबसाइट पर दिखा रही थीं. आधार अथॉरिटी ने भी इन वेबसाइट्स के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई है. हाल ही में स्टार हेल्थ का 3 करोड़ से ज्यादा लोगों का निजी डेटा लीक हुआ है. स्टार हेल्थ ने भी हैकर, टेलीग्राम और इसमें शामिल दूसरे लोगों पर एफआईआर दर्ज करवाई है.
जानकारों का मानना है कि इस डेटा लीक को रोक पाना संभव नहीं है. इसे आसानी से दूसरी वेबसाइट पर डाला जा सकता है. वीपीएन का इस्तेमाल करते हुए इसे देखा जा सकता है. डेटा दूसरे चैटबॉट और वेबसाइट पर डाला जा सकता है. नया डेटा प्रोटेक्शन एक्ट अभी लागू नहीं है.
सरकार ने क्या कहा?
भारत सरकार सुरक्षित और जवाबदेह इंटरनेट सेवा उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है. इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय की जानकारी में आया है कि कुछ वेबसाइट देश के नागरिकों के आधार और पैन कार्ड का डेटा उजागर कर रही हैं. इसे गंभीरता से लिया गया है. सरकार साइबर सुरक्षा और पर्सनल डेटा की सुरक्षा को सर्वोच्च प्राथमिकता देती है. इसी कड़ी में इन वेबसाइट्स को ब्लॉक किया गया है.
Government of India takes action to protect Citizens' Data: Websites Exposing #Aadhaar and #PAN Details blocked
IT secretaries of the State empowered to address complaints and compensations for Data Privacy violations
Read here: https://t.co/lkyslySIdw@GoI_MeitY
— PIB India (@PIB_India) September 26, 2024
वेबसाइट्स पर क्या आरोप है?
इन वेबसाइट्स पर देश के नागरिकों के आधार कार्ड और पैन कार्ड का डेटा लीक करने का आरोप है. इसी को लेकर ये एक्शन हुआ है. डेटा लीक की इस घटना ने लोगों की चिंता बढ़ा दी है.
हैकर्स के निशाने पर भारतीय टेलीकॉम यूजर्स
इसी साल जनवरी में ये बात सामने आई थी कि 75 करोड़ भारतीय टेलीकॉम यूजर्स हैकर्स के निशाने पर हैं. मामले की गंभीरता को देखते हुए इंडियन टेलीकॉम डिपार्टमेंट ने टेलीकॉम कंपनियों से सिस्टम का ऑडिट करने के लिए कहा था. इसके पीछे यूजर्स के फोन नंबर और आधार कार्ड जैसी डिटेल्स को तक हैकर्स की पहुंच की बात सामने आई थी.
CloudSEK (साइबर सिक्योरिटी फर्म) ने दावा किया था कि हैकर्स के एक ग्रुप ने भारतीय मोबाइल नेटवर्क कंज्यूमर्स का बड़ा डेटाबेस बिक्री के लिए डार्क वेब पर डाल दिया. इसको बेचने के लिए 3 हजार डॉलर की डिमांड कर रहे हैं.डेटासेट में 85 फीसदी भारतीय यूजर्स का डेटा हो सकता है.