अजमेर: में एक बिजनेसमैन और उसकी पत्नी को 4 दिनों तक डिजिटल अरेस्ट कर 40 लाख की ठगी के मामले में पुलिस ने एक अकाउंट होल्डर को गिरफ्तार किया है. जिसके अकाउंट में ठगी के करीब 158000 ट्रांसफर हुए थे. पुलिस गिरफ्तार आरोपी से पूछताछ में जुटी है. इस मामले में पुलिस पूर्व में दो आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है.
सीओ हनुमान सिंह ने बताया कि बिजनेसमैन और उसकी पत्नी से डिजिटल अरेस्ट के मामले में भिनाय निवासी चंद्रप्रकाश पुत्र श्यामलाल को गिरफ्तार किया गया है. आरोपी को रिमाइंड पर लेकर पूछताछ की जा रही है. पूर्व में दो आरोपियों को अरेस्ट कर जेल भेज जहर जा चुका है.
सीओ हनुमान सिंह ने बताया कि 21 जुलाई 2025 को धोलाभाटा के रहने वाले पीड़ित एल्विस माइकल सिंह की ओर से मुकदमा दर्ज करवाया गया था. शिकायत में बताया कि 15 जुलाई को उनके नंबर पर वॉट्सऐप कॉल आया था. इसी दौरान उनकी पत्नी पेग्गी के नंबर पर भी ठगों ने वीडियो कॉल किया था.
ये दोनों नंबर अलग-अलग थे. हालांकि, एल्विस के नंबर पर आए ठग ने फोन रख दिया था. लेकिन, पत्नी के नंबर पर आए वीडियो कॉल में ठग ने अपने आप को मुंबई के कोलाबा पुलिस स्टेशन का अधिकारी संदीप रॉय बताया.
इसके बाद फर्जी पुलिस अधिकारी ने दोनों को धमकाना शुरू किया और कहा कि उनके बैंक अकाउंट में ब्लैक मनी है. इस दौरान वॉट्सऐप पर फर्जी डॉक्यूमेंट भेजे और झांसे में लिया.
पीड़ित बिजनेसमैन ने बताया कि ठगों ने 18 जुलाई तक उन्हें डिजिटल अरेस्ट रखा. इस दौरान दोनों का धमकाया और कहा कि कमरे से बाहर मत निकलना. इतना ही नहीं बिना उनके परमिशन के कुछ भी करने से मना कर दिया.
इस दौरान तीन अलग-अलग नंबर से वीडियो कॉल किए गए. बाद में उन्हें बैंक में जमा राशि के वेरिफिकेशन के लिए 14 लाख लैंड परचेज का कारण बताते हुए बैंक में जमा करवाने को कहा और एफडी की डिटेल्स पूछी.
18 जुलाई को वापस कॉल करके एफडी को तुड़वाकर कुल 26 लाख रुपए वेरिफिकेशन करने के नाम ठगों को ट्रांसफर करवाए. इसके बाद फिर से 14 लाख रुपए आरोपियों के अकाउंट में ट्रांसफर किए. ये 40 लाख रुपए आरटीजीएस से ठगों के खातों में ट्रांसफर किए गए थे.