प्रयागराज महाकुंभ में सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर्स और नए-नए बाबाओं के वीडियो वायरल होने साधु-संतों ने नाराजगी जाहिर की है. उन्होंने कहा है कि संगम नगरी में जहां अध्यात्म और धर्म की बातें होनी चाहिए, वहां हर्षा, मोनालिसा और आईआईटी बाबा जैसे लोगों की चर्चा हो रही है.
अखाड़ा परिषद के महंत रवींद्र पुरी महंत ने सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर्स और कथित बाबाओं को मंच से बोलते हुए आगाह किया कि महाकुंभ मेले में साधु-संतों की बात करें, धर्म की बात करें, उन्हें परेशान ना करें, नहीं तो हम लोगों को कुछ करना पड़ेगा.
वहीं, निरंजनी अखाड़े की महिला महामंडलेश्वर अन्नपूर्णा भारती ने कहा कि बड़े दुख की बात है कि कुछ यूट्यूबर अपने फॉलोअर्स और रेटिंग को बढ़ाने के लिए त्याग और तपोभूमि में आए संतों को दरकिनार करते हुए ऐसे लोगों पर क्रंदित होकर रह गए हैं, जिनका अध्यात्म से कोई मतलब नहीं है. इन्होंने संतों का जीना हराम कर दिया है. इन्हें कुंभ की वास्तविकता को प्रदर्शित करना चाहिए ना कि हर्षा रिछारिया को.
बकौल अन्नपूर्णा भारती- वो एक बेटी है माला बेचने वाली मोनालिसा, उसे ही सब जगह दिखाया जा रहा है. जबकि, यहां का तो कड़-कड़ खूबसूरत है. उस चीज की खूबसूरती, आध्यात्मिक खूबसूरती को क्यों नहीं प्रदर्शित कर रहे. 2025 के महाकुंभ में जहां योगी जी पूरे विश्व पटल पर यहां की संस्कृति और अध्यात्म का परचम लहराने की बात कर रहे हैं वहां यूट्यूबर सिर्फ तीन-चार लोगों पर केंद्रित होकर रह गए हैं. मानो कि यह महाकुंभ हर्षा रिछारिया का हो गया हो, मोनालिसा का हो गया हो और मेंटल आईटी बाबा को हो गया हो.
उधर, जूना अखाड़े के संत महामंडलेश्वर ऋषि भारतीय ने कहा है कि कोई एक्ट्रेस/मॉडल अगर भगवा चोला पहन के बिना संस्कार के स्नान करती है तो उसे देखकर उन संतों की भी गरिमा गिरती है जो सच्चे हैं. हो सकता है कि एक्ट्रेस ने भगवा चोला अपने फॉलोअर्स को बढ़ाने के लिए पहना हो. महामंडलेश्वर ने प्रार्थना की है कि उन लोगों को विवेक मिले और वो ऐसी हरकतों से बाज आएं.