ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट से पहले मुख्य सचिव अनुराग जैन की अध्यक्षता में शुक्रवार को हुई वरिष्ठ सचिव समिति की बैठक में इलेक्ट्रिक वाहन नीति को हरी झंडी दी गई। इसमें वाहन खरीदने पर प्रोत्साहन स्वरूप अनुदान नहीं दिया जाएगा। नगरीय विकास एवं आवास विभाग ने यह प्रस्तावित किया था, जिस पर सहमति नहीं बनी। वित्त विभाग को भी इस पर आपत्ति थी। हालांकि, इलेक्ट्रिक वीकल को प्रोत्साहित करने के लिए पंजीयन, रोड टैक्स और टोल से छूट देने का प्रविधान किया गया है। चार्जिंग स्टेशन बनाने के लिए एक बार अधिकतम 10 लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जा सकेगी।
- इस नीति को अब अंतिम निर्णय के लिए 18 फरवरी को प्रस्तावित कैबिनेट के समक्ष प्रस्तुत किया जाएगा। वैसे भी उद्योग संवर्धन नीति में भूमि देने के लिए शुल्क संबंधी प्रविधान पहले से हैं।
- विभागीय अधिकारियों का अनुमान था कि वाहन खरीदने पर यदि अनुदान दिया जाता है तो इस पर वार्षिक लगभग 55 करोड़ रुपये का भार आएगा।
- चार्जिंग स्टेशन को प्रोत्साहित करने के लिए डेढ़ से लेकर दस लाख रुपये तक अनुदान दिया जाएगा। बिजली की दर में छूट दी जाएगी। बैटरी बदलने की व्यवस्था चार्जिंग स्टेशन पर रहेगी।
- इस पर तेजी से काम किया जाएगा।
विमानन नीति को भी मंजूरी
बैठक में विमानन नीति को भी मंजूरी दी गई। इसमें फोकस इस बात पर है कि हर घंटे पर हेलीपैड उपलब्ध हो। एक घंटे पर एयर स्ट्रिप और दो घंटे पर एयरपोर्ट की सुविधा मिले। इसे ध्यान में रखते हुए अधोसंरचना विकास के काम होंगे। पर्यटन क्षेत्रों को हवाई सेवा से जोड़ने के लिए भारत सरकार की योजना का लाभ उठाया जाएगा।
World War 3 will be for language, not land! pic.twitter.com/0LYWoI3K0r
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