1 माह बाद भी नहीं हुआ धान का उठाव, बलौदाबाजार में खुले में पड़ा है 8 लाख क्विंटल धान

बलौदाबाजार जिले में धान खरीदी बंद होने के एक माह बाद भी उठाव नहीं हो पाया। जिले के 166 खरीदी केंद्रों में करीब 7 लाख 80 हजार क्विंटल धान अभी भी खुले में पड़ा हुआ है।

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धान उठाव की धीमी गति से समितियों को आर्थिक नुकसान की आशंका है। खुले में लंबे समय तक पड़े रहने से धान में सूखत की समस्या बढ़ रही है। खरतोरा समिति में स्थिति और भी गंभीर है।

समिति प्रभारी दुर्गेश गेंडरे के मुताबिक, उनके केंद्र में 30 हजार कट्टा धान जमा है। पिछले 25 दिनों में मात्र 12 गाड़ियां ही परिवहन के लिए आई हैं।

85 लाख 53 हजार क्विंटल धान की खरीदी

 

जिले में कुल 1 लाख 60 हजार 23 किसानों से 85 लाख 53 हजार क्विंटल धान की खरीदी समर्थन मूल्य पर की गई थी। अपर मुख्य सचिव ने 28 फरवरी तक धान उठाने के निर्देश दिए थे, लेकिन यह समय सीमा बीत चुकी है।

7 लाख 80 हजार क्विंटल धान खुले में

विभिन्न केंद्रों की स्थिति चिंताजनक है। बलौदाबाजार में 75,000, वटगन में 1 लाख, भटभेरा में 92,000, कोदवा में 95,000 और सिमगा में 80,000 क्विंटल धान अभी भी जमा है। अन्य केंद्रों जैसे पलारी, निपनिया में 30,000-30,000 क्विंटल धान का उठाव बाकी है।

‘जल्द उठाव किया जाएगा’

डीएमओ राहुल अंधसकर का कहना है कि जिले में 90 प्रतिशत से अधिक धान का उठाव हो चुका है। शेष धान का भी जल्द उठाव किया जाएगा। हालांकि, अतिरिक्त सूखत की भरपाई के लिए शासन से अभी तक कोई दिशा-निर्देश नहीं मिले हैं।

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