गोण्डा: अपेक्स हॉस्पिटल के ईएनटी सर्जन डॉ. एजाज हुसैन ने ईयरफोन के अत्यधिक उपयोग को लेकर गंभीर चेतावनी दी है. उनका कहना है कि लंबे समय तक ईयरफोन लगाने से कानों में गर्मी पैदा होती है और संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है. इसके अलावा, तेज आवाज में लगातार ईयरफोन का इस्तेमाल करने से हियरिंग सेल्स प्रभावित होते हैं, जिससे बहरेपन की समस्या हो सकती है.
डॉ. हुसैन के अनुसार, कानों के लिए 40 से 60 डेसिबल तक की ध्वनि सुरक्षित मानी जाती है, लेकिन 85 से 100 डेसिबल से अधिक साउंड कानों को नुकसान पहुंचा सकता है. उन्होंने कहा कि फैक्ट्रियों में काम करने वाले श्रमिकों को ईयर प्लग का इस्तेमाल करना चाहिए, और रेलवे स्टेशन के पास रहने वाले लोगों को भी तेज आवाज से बचाव के लिए ईयर प्लग लगाने की सलाह दी जाती है.
इसके अलावा, नवजात शिशुओं को दूध पिलाने के दौरान सावधानी बरतने की आवश्यकता है. डॉ. हुसैन ने बताया कि बच्चों को लेटाकर दूध पिलाने से उनके कानों में दूध जा सकता है, जिससे बहरेपन की संभावना बढ़ जाती है. इसलिए, बच्चों का सिर थोड़ा ऊपर उठाकर दूध पिलाना चाहिए.
उन्होंने कानों की सुरक्षा को लेकर भी सुझाव दिए हैं, जैसे – कानों में किसी भी प्रकार का तरल पदार्थ न डालें, गंदे पानी में तैराकी न करें और कानों की सफाई के लिए कोई बाहरी वस्तु उपयोग न करें, क्योंकि कान खुद ही स्वच्छ होते रहते हैं.
डॉ. हुसैन ने अभिभावकों से अपील की है कि वे अपने बच्चों को ईयरफोन के अत्यधिक उपयोग से बचाने के लिए जागरूक करें, ताकि उनकी सुनने की क्षमता सुरक्षित रह सके.