सैफई में शॉर्ट सर्किट का कहर : किसान रंगलाल की 5 बीघा गेहूं की फसल राख, सिस्टम की लापरवाही पर फूटा गुस्सा

सैफई (उत्तर प्रदेश): सैफई थाना क्षेत्र के नायकपुरा गांव में  एक हृदयविदारक घटना सामने आई, जहां शॉर्ट सर्किट के कारण किसान रंगलाल की पांच बीघा में लहलहाती गेहूं की फसल जलकर राख हो गई. इस घटना ने न केवल किसान को भारी आर्थिक नुकसान पहुंचाया है, बल्कि उसकी पूरे साल की मेहनत पर भी पानी फेर दिया है. घटना के बाद गांव में अफरा-तफरी का माहौल बन गया और पीड़ित किसान का गुस्सा स्थानीय प्रशासन और बिजली विभाग की कथित लापरवाही पर फूट पड़ा.

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जानकारी के अनुसार, नायकपुरा निवासी रंगलाल ने अपनी पांच बीघा जमीन पर गेहूं की फसल बोई थी, जो अब कटाई के लिए बिल्कुल तैयार थी. किसान और उसका परिवार फसल को देखकर खुश थे और अच्छी पैदावार की उम्मीद लगाए बैठे थे. लेकिन दोपहर अचानक खेत के ऊपर से गुजर रहे बिजली के जर्जर तारों में शॉर्ट सर्किट हो गया. चिंगारियां सूखी गेहूं की फसल पर गिरीं और देखते ही देखते आग ने विकराल रूप धारण कर लिया.

जब तक गांव के लोग आग बुझाने के लिए दौड़ते, तब तक तेज हवा के कारण आग तेजी से फैल चुकी थी और पूरी फसल को अपनी चपेट में ले लिया. किसान रंगलाल अपनी आंखों के सामने अपनी मेहनत की कमाई को जलता हुआ देखकर बेबस खड़ा रहा. घटना की सूचना तुरंत फायर ब्रिगेड को दी गई. सूचना मिलते ही फायर ब्रिगेड की गाड़ी मौके पर पहुंची और कड़ी मशक्कत के बाद आग पर काबू पाया जा सका, लेकिन तब तक किसान की पूरी फसल जलकर राख हो चुकी थी.

 

इस घटना से किसान रंगलाल को लाखों रुपए का नुकसान हुआ है. पीड़ित किसान ने बिजली विभाग पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए कहा कि क्षेत्र में बिजली के तार काफी पुराने और जर्जर हालत में हैं, जिसकी शिकायत कई बार विभाग से की जा चुकी है, लेकिन इस पर कोई ध्यान नहीं दिया गया. किसान ने कहा कि यह हादसा सिस्टम की लापरवाही का नतीजा है और इसके लिए जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए.

गांव के अन्य किसानों ने भी इस घटना पर दुख व्यक्त किया और सरकार से पीड़ित किसान को उचित मुआवजा देने की मांग की है. उन्होंने कहा कि किसानों को प्राकृतिक आपदाओं के साथ-साथ इस तरह की लापरवाही का भी शिकार होना पड़ रहा है, जो बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है. इस घटना ने एक बार फिर ग्रामीण क्षेत्रों में बिजली के बुनियादी ढांचे की खस्ताहालत और रखरखाव की कमी को उजागर कर दिया है.

स्थानीय लोग अब प्रशासन से मांग कर रहे हैं कि भविष्य में ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए तत्काल कदम उठाए जाएं और जर्जर तारों को बदला जाए. यह घटना किसान रंगलाल के लिए एक बड़ा झटका है, जिसने अपनी आजीविका का एकमात्र साधन खो दिया है. अब उसे और उसके परिवार को जीवन यापन के लिए भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ेगा.

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