राजस्थान के राजसमंद में एक परिवार ने एसपी से न्याय की गुहार लगाई है. क्योंकि खाप पंचायत ने परिवार का सामाजिक बहिष्कार कर दिया. यानी परिवार को समाज से बाहर निकाल दिया गया है, जिसकी शिकायत परिवार की एक महिला ने एसपी से की और बताया कि उनके परिवार का खाप पंचायत ने मनमानी करते हुए सामाजिक बहिष्कार कर दिया. इसके साथ ही पीड़िता ने न्याय की गुहार लगाते हुए जातीय पंचों पर अवैध वसूली और प्रताड़ना का आरोप भी लगाया.
दरअसल, ये मामला भीम तहसील के ठिकरवास कला गांव से सामने आया है, जहां रहने वाले परिवार का खाप पंचायत ने मनमानी करते हुए सामाजिक बहिष्कार कर दिया. ठीकरवास गांव की पीड़िता शोभा प्रजापत ने अपने पिता के साथ एसपी से न्याय की गुहार लगाते हुए जातीय पंचों पर अवैध वसूली और प्रताड़ना का आरोप लगाया है. शोभा प्रजापत ने बताया कि मई 2024 को राकेश प्रजापत से विधिवत तलाक हो गया था. इसके बाद उन्होंने भीलवाड़ा के रहने वाले सुरेश प्रजापत से दूसरी शादी की. इस शादी का शोभा के पहले ससुर नारायण प्रजापत और समाज के पंचों ने विरोध किया.
अवैध पैसों की मांग करने का आरोप
उन्होंने आगे बताया कि पंचों ने उनसे और उनके वर्तमान पति से अवैध पैसों की मांग की और वसूली के पैसे नहीं देने पर पूरे परिवार को समाज से बहिष्कृत कर दिया गया. ऐसे में शोभा ने आरोप लगाया कि उन्हें और उनके पिता लक्ष्मण लाल के परिवार को सामाजिक कार्यक्रमों में प्रवेश से रोका जा रहा है. पीड़िता ने खाप पंचों के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग की है तो वहीं राजसमंद एसपी मनीष त्रिपाठी ने मामले में निष्पक्ष जांच और उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया है.
एसपी ने लगाई न्याय की गुहार
महिला के दूसरे शादी करने पर उसके पहले ससुर को ऐतराज था. इसलिए उन्होंने शोभा की दूसरी शादी का विरोध किया और समाज के पंचों ने भी उनका विरोध किया. इसके साथ ही उनसे और उनके पति से पैसों की मांग की गई. जब पैसे देने से इनकार कर दिया तो उसके परिवार को समाज से बाहर कर दिया गया, जिसकी शिकायत लेकर शोभा राजसमंद एसपी के पास न्याय की गुहार लगाने पहुंची, जहां एसपी मनीष त्रिपाठी ने पीड़िता को कार्रवाई करने का आश्वासन दिया.