प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज गृह मंत्री अमित शाह, विदेश मंत्री एस जयशंकर और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल के साथ बैठक की. बैठक खत्म होने के बाद एनएसए अजीत डोभाल, विदेश मंत्री एस जयशंकर और गृह मंत्री अमित शाह बाहर निकले हैं. अभी तक इस बैठक को लेकर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है.
इस बैठक से पहले केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा था, ऑपरेशन सिंदूर प्रधानमंत्री मोदी के दृढ़ संकल्प, विभिन्न एजेंसियों द्वारा सटीक खुफिया जानकारी जुटाने और भारतीय सशस्त्र बलों की अचूक मारक क्षमता का प्रतीक है. ये बात उन्होंने एजेंसियों के बीच खुफिया जानकारी शेयर करने के मकसद से दिल्ली में एक नए केंद्र का उद्घाटन करने के बाद कही.
World War 3 will be for language, not land! pic.twitter.com/0LYWoI3K0r
— India 2047 (@India2047in) July 4, 2025
बहु एजेंसी केंद्र की स्थापना का मकसद
बता दें कि खुफिया ब्यूरो के तहत इस बहु एजेंसी केंद्र की स्थापना 26/11 के मुंबई आतंकी हमले के बाद की गई थी. इसका मकसद कानून प्रवर्तन में शामिल विभिन्न हितधारकों के बीच समय पर जानकारी शेयर करना है. बता दें कि पहलगाम आतंकी हमले और आतंकवाद के खिलाफ भारत के ऑपरेशन सिंदूर लॉन्च होने के बाद से लगातार बड़ी बैठकें जारी हैं.
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का बड़ा बयान
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने भी शुक्रवार को बड़ा बयान दिया. उन्होंने दो टूक कहा किभारत नहीं चाहता कि वो जो पैसा आईएमएफ को देता है, उसका इस्तेमाल किसी भी तरह से पाकिस्तान या अन्य देशों में आतंकवाद का बुनियादी ढांचा तैयार करने में हो.मेरा मानना है कि पाकिस्तान को किसी भी तरह की आर्थिक मदद आतंकवाद के वित्तपोषण से कम नहीं है.
राजनाथ सिंह ने आईएमएफ को दिया ये सुझाव
राजनाथ सिंह ने कहा कि भारत चाहता है कि आईएमएफ पाकिस्तान को दी गई एक अरब डॉलर की सहायता पर फिर से विचार करे. साथ ही भविष्य में किसी भी तरह की मदद देने से परहेज करे. उन्होंने कहा किऑपरेशन सिंदूर में भारत के सशस्त्र बल न केवल दुश्मन पर हावी रहे, बल्कि उन्हें नेस्तनाबूद करने में भी सफलता पाई.