नेशनल हेराल्ड मामला: ED की चार्जशीट में ‘जबरन डोनेशन’ का दावा, गांधी परिवार पर निशाना

नेशनल हेराल्ड मामले में दाखिल आरोपपत्र में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने कहा है कि कुछ कांग्रेस नेता उन व्यक्तियों में शामिल हैं, जिन्होंने वरिष्ठ पार्टी पदाधिकारियों के निर्देश पर यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड (YI Pvt Ltd) और एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (AJL) को पैसे डोनेट किए, क्योंकि ऐसा नहीं करना उनके राजनीतिक करियर और कारोबार के लिए ‘नुकसानदेह’ होता. ईडी ने आरोप लगाया है कि यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड का नियंत्रण राहुल गांधी और सोनिया गांधी के पास है और दोनों डोनेशन की आड़ में कंपनी को ट्रांसफर किए गए धन के लाभार्थी हैं. ईडी ने आरोपपत्र 9 अप्रैल को दिल्ली की एक अदालत में दायर किया था, जिसका कोर्ट ने अभी तक संज्ञान नहीं लिया है.

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ईडी ने धन शोधन निवारण अधिनियम (PMLA) के तहत दायर चार्जशीट में 78 वर्षीय पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष और राज्यसभा सांसद सोनिया गांधी को आरोपी नंबर 1 और उनके बेटे राहुल गांधी (54) को आरोपी नंबर 2 के रूप में नामित किया है. इसके अलावा पांच अन्य को भी आरोपी बनाया गया है. ईडी ने चार्जशीट में कहा है कि तेलंगाना के सीएम रेवंत रेड्डी (तत्कालीन विधायक) के कथित निर्देश पर, 2022 में 4 कांग्रेस नेताओं द्वारा 80 लाख से अधिक का दान यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड को दिया गया.

कांग्रेस नेताओं पर yi को डोनेशन देने का बनाया गया दबाव

चार्जशीट के मुताबिक 2019 का लोकसभा चुनाव लड़ने वाले गली अनिल कुमार ने जून 2022 में 20 लाख रुपये का दान दिया, इसी तरह पूर्व विधायक अली शब्बीर ने 20 लाख रुपये का दान दिया. तेलंगाना कांग्रेस के तत्कालीन कोषाध्यक्ष पी. सुदर्शन ने 15 लाख रुपये का दान दिया और तेलंगाना कांग्रेस के तत्कालीन कार्यकारी अध्यक्ष ने 25 लाख रुपये का दान दिया. ये सभी दान 2022 में एक महीने के भीतर किए गए. ईडी ने आरोपपत्र में कहा है कि पूर्व केंद्रीय मंत्री और सांसद पवन बंसल ने कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार और डीके सुरेश को 5.80 करोड़ रुपये से अधिक का दान देने का निर्देश दिया था.

डीके शिवकुमार और उनके भाई ने दिया ₹50 लाख डोनेशन

ईडी ने आरोप लगाया है कि डीके शिवकुमार ने अप्रैल 2022 में यंग इंडिया प्राइवेट लिमिटेड को 25 लाख रुपए दान किए, उसी दिन उनके भाई डीके सुरेश ने भी 25 लाख रुपए दान किए. डीके शिवकुमार से जुड़े नेशनल एजुकेशन ट्रस्ट ने यंग इंडियन को 2 करोड़ रुपए दान किए, जबकि पंजाब में विधायकी का चुनाव लड़ने वाले अमित विज ने तीन किस्तों में 3.30 करोड़ रुपए दान किए. ये सभी दान एक साल के अंदर किए गए. नेशनल हेराल्ड-एजेएल-वाईआई (National Herald-AJL-YI Case) मामला, यंग इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के मालिकों और बहुसंख्यक शेयरधारकों (सोनिया गांधी और राहुल गांधी) द्वारा एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (AJL) की 2,000 करोड़ रुपये की संपत्ति अवैध रूप से हथियाने के लिए कथित साजिश रचने से संबंधित है.

हां हमने पार्टी के अखबार को पैसे डोनेट किए हैं: शिवकुमार

इस बारे में मीडिया द्वारा पूछे गए सवाल पर कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार ने कहा, ‘हां, हमने पैसे दान किए हैं. मैंने 25 लाख रुपये दिए और डीके सुरेश ने 25 लाख रुपये और दिए. इसमें क्या गलत है? हमने पार्टी द्वारा चलाए जाने वाले अखबार को दान दिया, इसमें क्या गलत है? यह हमारे मेहनत का पैसा है, यह चोरी का पैसा नहीं ह. हमने इसे खुलेआम दिया है. हमने कुछ भी नहीं छिपाया है. हमारा एक ट्रस्ट है, और हमने बिना कुछ छिपाए, खुलेआम, शाही तरीके से योगदान दिया है.’

एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड नेशनल हेराल्ड न्यूज प्लेटफॉर्म (न्यूज पेपर और वेब पोर्टल) का प्रकाशक है और इसका स्वामित्व यंग इंडियन प्राइवेट लिमिटेड के पास है. ईडी ने अपनी जांच में पाया कि कुछ संस्थाओं ने कांग्रेस पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के प्रभाव में आकर यंग इंडिया प्राइवेट लिमिटेड को डोनेशन के रूप में पैसों का भुगतान किया. कांग्रेस नेताओं ने इन संस्थाओं और उनके मालिकों को पार्टी की राजनीति में कुछ लाभ दिलाने का वादा किया था. हालांकि, कांग्रेस ने गांधी परिवार के खिलाफ ईडी के आरोपपत्र को प्रतिशोध की राजनीति बताया है. यंग

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