पश्चिम एशिया में हाल के घटनाक्रमों के मद्देनज़र भारत सरकार ने 18 जून को ऑपरेशन सिंधु के नाम से एक विशेष बचाव अभियान शुरू किया था, जिसके तहत ईरान और इज़राइल में फंसे भारतीय नागरिकों को सुरक्षित स्वदेश लाया गया. अब तक कुल 4415 भारतीय नागरिकों को इस अभियान के तहत से निकाला जा चुका है. इनमें 3597 नागरिक ईरान से और 818 नागरिक इज़राइल से सुरक्षित लाए गए.
ऑपरेशन सिंधु के तहत अब तक 19 विशेष उड़ानों का संचालन किया गया, जिनमें 3 भारतीय वायुसेना के C-17 विमान भी शामिल रहे. इसके अतिरिक्त, ईरान से 14 ओसीआई कार्डधारकों, 9 नेपाली नागरिकों, 4 श्रीलंकाई नागरिकों और एक भारतीय नागरिक की ईरानी पत्नी को भी सुरक्षित निकाला गया.
भारत ने ईरान सरकार का जताया आभार
बता दें कि वापसी करने वालों में 1500 से अधिक महिलाएं और 500 से अधिक बच्चे भी शामिल हैं. वहीं भारत ने ईरान सरकार का आभार जताया है. 17-18 जून को भारत ने तेहरान, येरेवान (आर्मेनिया) और अश्गाबात (तुर्कमेनिस्तान) में समन्वय के साथ जमीनी मार्गों से भी भारतीय नागरिकों को ईरान से निकाला.
इसके बाद 18 जून से विशेष उड़ानों के जरिए भारत लाना शुरू किया गया. ईरान द्वारा 20 जून को अपने हवाई क्षेत्र को भारत के अनुरोध पर खोले जाने के बाद निकासी अभियान में तेजी आई. 18 से 26 जून के बीच 15 विशेष उड़ानों के माध्यम से 3597 भारतीय नागरिकों को वापस लाया गया, जिनमें छात्र, पेशेवर, तीर्थयात्री, मछुआरे और विभिन्न राज्यों के श्रमिक शामिल थे.
इजराइल में शुरू किया गया अभियान
इजराइल में ऑपरेशन सिंधु 23 जून से शुरू हुआ. भारतीय मिशनों ने तेल अवीव, रामल्ला, अम्मान और काहिरा में समन्वय करते हुए भारतीय नागरिकों को जॉर्डन और मिस्र के ज़रिए बाहर निकाला. 818 भारतीय नागरिकों को अम्मान और शर्म अल शेख से 22 से 25 जून के बीच 4 उड़ानों (जिनमें 3 वायुसेना के C-17 विमान शामिल) के माध्यम से भारत लाया गया.
25 जून को रोका गया ऑपरेशन
पश्चिम एशिया में हवाई क्षेत्र के दोबारा खुलने के बाद 25 जून को निकासी अभियान फिलहाल रोक दिया गया है. हालांकि भारत सरकार स्थिति पर लगातार नजर बनाए हुए है और आवश्यकता पड़ने पर अगली कार्रवाई की जाएगी.
नागरिकों की सुरक्षा के प्रति प्रतिबद्धता
सरकार ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में भारत सरकार अपने प्रत्येक नागरिक की सुरक्षा और भलाई के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है. ऑपरेशन सिंधु इसी प्रतिबद्धता का एक और उदाहरण है. भारत ने ईरान, इज़राइल, जॉर्डन, मिस्र, आर्मेनिया और तुर्कमेनिस्तान की सरकारों को उनके सहयोग के लिए धन्यवाद दिया है और कहा है कि भारतीय मिशन आगे भी इन देशों की सरकारों और भारतीय समुदाय से संपर्क बनाए रखेंगे.