उत्तर प्रदेश : बहराइच जिले में भारत-नेपाल सीमा पर सशस्त्र सीमा बल (एसएसबी) ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए शनिवार की देर शाम को सात संदिग्ध व्यक्तियों को हिरासत में लिया है। यह कार्रवाई रूपईडीहा चेक पोस्ट पर की गई, जहां नियमित जांच के दौरान इन संदिग्धों के पास से प्रतिबंधित फ्रीक्वेंसी के पांच वॉकी-टॉकी सेट बरामद हुए हैं, जो चालू हालत में थे.
गिरफ्तार किए गए सभी आरोपी महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों के निवासी बताए जा रहे हैं। सीमा पर तैनात सुरक्षा एजेंसियां इन आरोपियों से गहन पूछताछ कर रही हैं, हालाँकि अभी तक कोई खास जानकारी सामने नहीं आई है। सुरक्षा एजेंसियां इस मामले की तह तक जाने का प्रयास कर रही हैं.
सूत्रों के अनुसार, रूपईडीहा चेक पोस्ट पर एसएसबी की 42वीं वाहिनी शनिवार देर शाम को को एसबीसी सहायक उप निरीक्षक योगेश कुमार अपनी टीम के साथ नियमित चेकिंग कर रहे थे। इसी दौरान उन्होंने महाराष्ट्र नंबर की एक टोयोटा क्वालिस को नेपाल से भारत की ओर आते देखा.
वाहन की चेकिंग करने पर गाड़ी में सवार लोगों के पास से पांच वॉकी-टॉकी हैंडसेट बरामद हुए, जिनकी फ्रीक्वेंसी प्रतिबंधित पाई गई। इसके बाद सीमा पर तैनात अन्य सुरक्षा एजेंसियां भी अलर्ट हो गईं और इलाके में सतर्कता बढ़ा दी गई.
नानपारा के पुलिस क्षेत्राधिकारी प्रद्युम्न सिंह ने बताया कि एसएसबी ने सात लोगों को पकड़ा था। एसएसबी के सहायक उप निरीक्षक योगेश कुमार की तहरीर पर मुकदमा दर्ज कर सभी आरोपियों को जेल भेज दिया गया है। पुलिस इस मामले में आगे की कानूनी कार्रवाई कर रही है.
गिरफ्तार किए गए संदिग्धों में चार महाराष्ट्र और तीन उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं। महाराष्ट्र से गिरफ्तार आरोपियों की पहचान बिलाल अब्दुल रहमान शेख, मुनीर युसूफ शेख, मोहम्मद मुस्लिम और तेमेश्वर भोंदवे के रूप में हुई है। वहीं, उत्तर प्रदेश के आरोपियों में अचलेश कुमार (बिजनौर), शंकर पांडे (कुशीनगर) और छांगुर (सराय जगना, बहराइच) शामिल हैं.
पुलिस इन सभी के आपराधिक इतिहास को खंगालने में जुटी है। पूछताछ में मोहम्मद मुस्लिम ने बताया कि वह पुणे में कैटरिंग का ठेकेदार है और अपने दोस्त नसीम शेख से मिलने नेपालगंज गया था। एसएसबी के अनुसार, नसीम शेख इस्लामिक संघ का सक्रिय सदस्य है, जो नेपाल में सक्रिय एक इस्लामी संगठन है। इस खुलासे के बाद सुरक्षा एजेंसियां और भी सतर्क हो गई हैं.
एसएसबी टीम ने बताया कि बरामद किए गए आरटी सेट की फ्रीक्वेंसी की जांच कराई गई, जो प्रतिबंधित फ्रीक्वेंसी पर चलते पाए गए। आरोपी वॉकी-टॉकी से संबंधित कोई भी वैध दस्तावेज प्रस्तुत नहीं कर सके.
एसएसबी की तहरीर के आधार पर मामले की गहन जांच पड़ताल की जा रही है। इस घटना ने सीमा सुरक्षा को लेकर चिंताएं बढ़ा दी हैं और सुरक्षा एजेंसियां इस मामले की तह तक जाने का प्रयास कर रही हैं ताकि किसी भी संभावित खतरे को टाला जा सके.