पति-पत्नी के बीच जब कोई तीसरा आ जाता है, तो कभी-कभार खौफनाक रूप भी ले लेता है. राजस्थान के राजसमंद में भी कुछ ऐसा ही हुआ. यहां एक पत्नी ने आशिक की खातिर अपने ही निर्दोष पति को मरवा डाला. फिर उसे आत्महत्या का रूप देने की कोशिश की. मगर कहते हैं न कि कातिल चाहे खुद को बचाने के लिए जितनी मर्जी चाल चले, एक न एक दिन पकड़ा जरूर जाता है. इस केस में भी कुछ ऐसा ही हुआ. पत्नी और उसने बॉयफ्रेंड समेत चार लोगों पुलिस ने हत्या के मामले में गिरफ्तार किया है.
मामला कांकरोली थाना क्षेत्र का है. यहां 24 जून को प्रतापपुरा पुलिया पर एक व्यक्ति की गला रेत कर हत्या कर दी गई. शुरुआत में इसे सड़क हादसे का रूप देने की कोशिश की गई, लेकिन पुलिस की तफ्तीश में साजिश की परतें खुलती चली गईं. इस मामले में पुलिस ने मुख्य आरोपी राम सिंह, उसके दो सहयोगियों और मृतक की पत्नी प्रमोद कंवर को गिरफ्तार कर लिया है.
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बचपन का प्यार बना खून की वजह
पुलिस जांच में सामने आया कि मृतक शेर सिंह की पत्नी प्रमोद कंवर और आरोपी राम सिंह बचपन से एक-दूसरे से प्यार करते थे. साल 2013 में परिवार के दबाव में प्रमोद की शादी शेर सिंह से कर दी गई, लेकिन वह अपने पुराने प्रेम को नहीं भूल पाई और राम सिंह से गुपचुप संपर्क में बनी रही.
प्रेमी से अवैध संबंध और दो बार गर्भपात
शादी के बाद भी प्रमोद कंवर और राम सिंह के बीच संबंध बने रहे. इसी दौरान प्रमोद दो बार गर्भवती हो गई, जिसके बाद पति शेर सिंह ने उसका अबॉर्शन करवा दिया. कई बार इस बात को लेकर घर में झगड़े भी हुए. परेशान होकर शेर सिंह पत्नी को लेकर केरल चला गया, लेकिन राम सिंह वहां भी मिलने पहुंच गया. अंततः शेर सिंह आमेट क्षेत्र के खाखरमाला में रहने लगा.
दो बार असफल रही हत्या की कोशिश
लगातार झगड़ों और टकराव से तंग आकर राम सिंह ने प्रमोद के साथ मिलकर शेर सिंह की हत्या की योजना बनाई. दो बार साजिश रची गई, लेकिन असफल रही. आखिरकार 24 जून को तीसरी बार इस वारदात को अंजाम दिया गया. हत्या से एक दिन पहले प्रमोद कंवर ने राम सिंह को 38 हजार रुपये दिए थे. जबकि, राम सिंह ने एक-एक लाख रुपये में दो लोगों को हत्या में शामिल कर लिया और एक इको स्पोर्ट्स कार को किराए पर लिया.
ऐसे रची गई कत्ल की योजना
24 जून को जब शेर सिंह बाइक से कांकरोली की तरफ जा रहा था, तभी राम सिंह ने प्रमोद से फोन पर उसकी लोकेशन पूछी. प्रमोद ने पेट्रोल के नाम पर शेर सिंह से 200 रुपये ऑनलाइन मंगवाए और उसकी लोकेशन पता कर राम सिंह को भेज दी. जब प्रतापपुरा पुलिया पर सुनसान जगह दिखी, तो कार से पहले टक्कर मारी गई और फिर कार से उतरकर धारदार हथियार से हमला किया गया. वारदात इतनी खौफनाक थी कि शेर सिंह की गर्दन और एक हाथ कटकर अलग हो गया.
शव उठाने से किया समाज ने मना
हत्या के बाद शव को मोर्चरी में रखवाया गया, लेकिन गिरफ्तारी न होने पर राजपूत समाज ने शव उठाने से मना कर दिया और अस्पताल परिसर में विरोध प्रदर्शन किया. उच्च अधिकारियों के आश्वासन के बाद शव का पोस्टमार्टम हुआ और विशेष जांच टीम गठित की गई.
48 घंटे में आरोपियों की गिरफ्तारी
कांकरोली थाना प्रभारी हंसराम सीरवी के नेतृत्व में पुलिस टीम ने तकनीकी सहायता से दोनों सहयोगियों को 48 घंटे में पकड़ लिया. उनकी निशानदेही पर मुख्य आरोपी राम सिंह को मध्य प्रदेश से गिरफ्तार किया गया. पूछताछ के दौरान जब मृतक की पत्नी प्रमोद कंवर का नाम सामने आया, तो उससे सख्ती से पूछताछ की गई. अंततः उसने पूरे घटनाक्रम को स्वीकार कर लिया. फिलहाल राम सिंह को 3 दिन की पीसी रिमांड पर लिया गया है, ताकि हत्या में प्रयुक्त हथियार और अन्य सामग्री बरामद की जा सके. बाकी आरोपियों को न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया गया है.