यह कैसा पौनी पसारी: जान जोखिम में डालकर नाई सड़क किनारे बैठ बना देता है अपने ठाकुरों की हजामत…

कुरुद: परंपरागत व्यवसाय को नया जीवन देने सरकार की तमाम जनजागरूकता व सुविधाओं के बाद भी ग्रामीण अंचल में यह बदलाव होता नही दिखाई पड़ रहा है. इसी परंपरागत व्यवसाय से जुड़े एक नाई ऐसा भी है जो कि अपने ठाकुरों की हजामत कही भी बैठकर बना देता है। एक ऐसा ही दृश्य कुरुद विकासखंड के अंतिम छोर के गांव में देखने को मिली है.

दरअसल हम बात कर रहे ग्राम जोरातराई(सी) में सड़क किनारे बैठकर हजामत बना रहे नाई नन्दकुमार कौशिक की जो कि अपने तो न सही अपने ठाकुरों की सुरक्षा की परवाह किये बगैर बिल्कुल सड़क में अपनी मोटरसाइकिल खड़ी कर किनारे ही चटाई बिछा अपने एक ठाकुर की हजामत बना रहा था। समय सुबह करीब 8 बजे की थी उस समय स्कूल बसो की आवाजाही खूब हो रही थी। जब हमने उनके बैठने की जगह को लेकर सवाल किया तो मजाकिया अंदाज में कहा कि 36 साल से यहां पौनी पसारी कर रहा हूं कुछ नही हुआ तो अब क्या होगा। वैसे तो नाई लोग अधिकतर वाचाल प्रवृत्ति के होते है, मजाकिया भी होते है पर कौशिक जी आपकी यह मजाकिया अंदाज किसी अनहोनी की दस्तक न हो इसका भी ख्याल रखे.

हम समझाइश दे रहे थे वे अपना फ़ोटो आयेगा सुन खुश थे

ग्रामीणों से पूछने पर बताया गया कि हमारे गांव में चार जगह रंगमंच है, इसके अलावा व्यवसायिक प्रतिष्ठानों वाली काम्प्लेक्स में भी जगह खाली है। अब मालगुजार प्रथा भी नही है कि उनके घर जाकर हजामत बनवाना अनिवार्य है बावजूद यह कही भी किसी भी जगह बैठ हजामत बना देता है। हमारी बातों को ग्रामीणों ने गम्भीरता से लिया और कहा कि कल से अब नाई सड़क किनारे बैठकर हमारी हजामत बनाएंगे तो इसे बदल देंगे। सड़को पर वाहनों की आवाजाही लगी रहती है कब क्या हो जाये कोई नही जान सकता। एक ओर हम ग्रामीणों के साथ मिलकर नाई कौशिक जी को समजाइश दे रहे थे लेकिन वे बात को मजाक समझ इतने खुश थे कि पत्रकार फ़ोटो खींच रहा है तो मेरा फ़ोटो छपेगा.

व्यवस्थित जगह पर सुरक्षित तरीके से करे पौनी पसारी

वही इस संदर्भ में नाई समाज के जिलाध्यक्ष धनसिंग सेन का कहना है कि पौनी से जुड़े अगर हमारे समाज के कोई भी भाई या सदस्य अपने व अपने ठाकुरों की सुरक्षा के साथ खिलवाड़ करता है तो वह गलत है. अब प्रत्येक गांव में बैठने के लिए रंगमंच या अन्य सामुदायिक भवन उपलब्ध है ग्रामीणों से अपनी समस्या प्रकट कर अपने लिए जगह चयनित करवा लेवे. इस तरह सड़क किनारे या कहीं भी बैठकर हजामत बनाना गलत है. भविष्य में ऐसी कोई गलती किसी भी भाई द्वारा नही की जाएगी ऐसी अपेक्षा भी रखता हूँ.

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