आधार दिखाओ, मुर्गा ले जाओ! पुणे में दंपति ने फ्री में बांटा 5000 किलो चिकन, टूट पड़ी भीड़

पुणे के धनोरी क्षेत्र में आषाढ़ महीने के अवसर पर एक अनोखी पहल देखने को मिली, जिसमें राजनीतिक रूप से सक्रिय दंपती धनंजय जाधव और उनकी पत्नी ने 5000 किलोग्राम चिकन का मुफ्त वितरण किया. यह आयोजन बड़े पैमाने पर किया गया और इसका उद्देश्य स्थानीय लोगों को एकजुट करना और पारिवारिक समय को बढ़ावा देना था

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दरअसल, चिकन पाने के लिए लाभार्थियों को आधार कार्ड दिखाकर रजिस्ट्रेशन कराना पड़ा, जिसके बाद हर पंजीकृत व्यक्ति को एक किलो चिकन मुफ्त में दिया गया. यह आयोजन धनोरी के सात अलग-अलग स्थानों पर किया गया था, जिससे अधिक से अधिक लोगों को इसका लाभ मिल सके.

आयोजन के दौरान धनंजय जाधव ने बताया, आषाढ़ महीने में पारंपरिक रूप से कई दावतें होती हैं, लेकिन शराब पीने के बाद कई बार पुरुषों के बेकाबू हो जाने की घटनाएं सामने आती हैं. ऐसे में एक किलो चिकन एक परिवार के चार लोगों के लिए काफी होता है, जिससे वे घर पर साथ में समय बिता सकें. इस आयोजन में महिलाओं की बड़ी भागीदारी देखने को मिली, जो अपने परिवार के लिए चिकन लेने आई थीं.

मराठी पंचांग के अनुसार, आषाढ़ के बाद श्रावण माह शुरू होता है, जिसमें हिंदू धर्म के कई त्योहार आते हैं और अधिकतर लोग इस दौरान शाकाहारी भोजन को अपनाते हैं. इसी कारण महाराष्ट्र में आषाढ़ महीने के अंतिम दिनों में मटन और चिकन की दावतें आम हो जाती हैं. खासकर ‘गरारी अमावस्या’ के दिन मांसाहारी भोजन की मांग बढ़ जाती है. यह पहल पुणे में एक अनोखा उदाहरण बनकर उभरी है, जिसने सोशल मीडिया पर भी खूब ध्यान खींचा है.

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