उत्तर प्रदेश के बस्ती में शराबियों के उत्पात से त्रस्त महिलाओं ने सड़क पर उतरकर अपनी आवाज बुलंद की. कोतवाली थाना क्षेत्र के कृष्णा भगौती गांव के पास बस्ती-महुली मार्ग पर गुरूवार को सैकड़ों महिलाओं ने शराब के ठेके को हटाने की मांग को लेकर सड़क जाम कर दी. करीब दो घंटे तक चले इस प्रदर्शन से मार्ग पर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं, जिससे यातायात बुरी तरह प्रभावित हुआ. मौके पर पहुंची पुलिस ने महिलाओं को समझा-बुझा कर शांत किया.
कृष्णा भगौती के पास स्थित शराब के ठेके से परेशान महिलाओं का कहना है कि शराबियों का दिनभर जमावड़ा उनकी जिंदगी को नर्क बना रहा है. प्रदर्शनकारी महिलाओं ने बताया कि सुबह से रात तक शराबी ठेके पर खड़े रहते हैं. हमारी बेटियां स्कूल-कॉलेज जाती हैं, उन पर फब्तियां कसी जाती हैं.
घर से निकलने में भी डर लगता है. शराबी गंदी-गंदी गालियां देते हैं, जिससे हम और हमारे बच्चे असुरक्षित महसूस करते हैं. महिलाओं ने मांग की कि ठेका तत्काल हटाया जाए, ताकि उनकी बहू-बेटियां सुरक्षित रह सकें.
सड़क जाम से यातायात ठप
महिलाओं के सड़क जाम करने से बस्ती-महुली मार्ग पर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं. एंबुलेंस और आपातकालीन वाहनों को भी निकलने में दिक्कत हुई. स्थानीय दुकानदारों ने बताया कि प्रदर्शन के कारण उनके ग्राहक नहीं पहुंच पाए, जिससे कारोबार को नुकसान हुआ.
पुलिस ने दिया आश्वासन
सूचना मिलते ही सोनूपार चौकी और कोतवाली पुलिस मौके पर पहुंची. पुलिस अधिकारियों ने महिलाओं की शिकायतें सुनीं और उन्हें समझाने की कोशिश की. अधिकारियों ने कहा कि महिलाओं की शिकायतों को गंभीरता से लिया जा रहा है. हमने आश्वासन दिया है कि इस मामले में उचित कार्रवाई की जाएगी. करीब दो घंटे की समझाइश के बाद महिलाओं ने सड़क जाम खोला, लेकिन चेतावनी दी कि यदि ठेका नहीं हटाया गया तो वे बड़ा आंदोलन करेंगी.
नियमों के हिसाब से खुली शराब की दुकान
वहीं जिला आबकारी अधिकारी राजेश कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि शराब की दुकान का लाइसेंस नियमानुसार दिया गया है. यदि किसी को इससे परेशानी है तो वे कानूनी तौर पर शिकायत दर्ज कर सकते हैं. प्रशासन स्तर पर आवश्यक कार्रवाई की जाएगी.
महिलाओं की चेतावनी
जबकि प्रदर्शनकारी महिलाओं ने स्पष्ट किया कि यदि उनकी मांगें पूरी नहीं हुईं तो वे और बड़े स्तर पर आंदोलन करेंगी. जिसके बाद स्थानीय प्रशासन और पुलिस पर शराब ठेके से उत्पन्न होने वाली समस्याओं को गंभीरता से लेने का दबाव बढ़ा दिया है.