उत्तर प्रदेश के आगरा धर्मांतरण कांड में नया खुलासा हुआ है. यहां धर्मांतरण केस का मुख्य आरोपी अब्दुल रहमान, उत्तराखंड की रहने वाली लड़की का धर्मांतरण करवाकर उससे चौथी शादी करना चाहता था. इसके लिए लड़की को दिल्ली भेजने की तैयारी थी, लेकिन इससे पहले ही आगरा पुलिस को इसकी भनक लग गई, जिसके बाद पुलिस ने समय रहते लड़की को रेस्क्यू कर लिया.
उत्तराखंड की रहने वाली 21 साल की लड़की जब सोशल मीडिया के जरिए उसके संपर्क में आई, तब उसे ये अंदाजा भी नहीं था कि यह दोस्ती उसकी पहचान, धर्म और आजादी पर सवाल बन जाएगी. छह साल पहले फेसबुक पर मुजफ्फरनगर के रहने वाले अब्बू तालीब से लड़की की पहचान हुई. बातचीत होती रही तो कुछ समय बाद तालीब ने उसे ‘Revert to Islam’ नाम के एक ग्रुप से जोड़ दिया. कुछ वक्त बाद लड़की की बातचीत देहरादून, दिल्ली और अन्य जगहों के आरोपियों से करवाई जाने लगी.
आरोपियों ने लड़की को धर्मांतरण के लिए धीरे-धीरे मानसिक रूप से तैयार किया. जब लड़की का फोन खराब हुआ तो उसे नया फोन और रीचार्ज पैसे दिए गए. इसी के साथ उससे कहा गया कि अब सहायता तभी मिलेगी, जब वह इस्लाम अपनाकर अब्दुल रहमान से निकाह करेगी.
लड़की पर दबाव बनाकर उसका नाम मरियम रख दिया गया और दिल्ली ले जाकर निकाह की तैयारी होने लगी. एक मुस्लिम वाहन चालक के माध्यम से लड़की को गाड़ी में बैठाकर हरिद्वार के रास्ते भेजने की तैयारी थी. इसी बीच इस मामले के बारे में सूचना आगरा पुलिस को मिल गई. समय पर सूचना मिलने के चलते पुलिस ने त्वरित कार्रवाई कर लड़की को रेस्क्यू कर लिया और सुरक्षित बचा लिया.
अब जानिए पूरा मामला
आगरा के थाना सदर बाजार में 4 मई 2025 को मिशन अस्मिता के तहत दर्ज केस दर्ज हुआ था. इसमें अब तक कई सनसनीखेज खुलासे हो चुके हैं. यह मामला अवैध रूप से धर्मांतरण का था, जिसमें अब तक देश के 6 राज्यों से कुल 14 आरोपी गिरफ्तार किए जा चुके हैं.
23 जुलाई 2025 को तीन प्रमुख आरोपी गिरफ्तार किए गए, जिनमें दिल्ली का रहने वाला 30 वर्षीय जुनैद कुरैशी, यूपी के फिरोजाबाद का रहने वाला 20 साल का अब्दुल रहमान उर्फ महेंद्र पाल और दिल्ली का रहने वाला 27 वर्षीय अब्दुल रहीम शामिल है. इन पर आरोप है कि इन लोगों ने सोशल मीडिया के जरिए देश के कई हिस्सों में रहने वाली लड़कियों को बहला-फुसलाकर धर्मांतरण के लिए मजबूर किया.
जिस लड़की का आगरा पुलिस ने रेस्क्यू किया, वह इस पूरे मामले की मुख्य गवाह भी है. कोर्ट में उसका बयान दर्ज कराया गया है. लड़की ने बताया कि आरोपियों ने उसके मोबाइल की निगरानी की. उसे नया फोन दिलवाया. कपड़े और पैसे भेजे. निकाह का दबाव डाला और कहा कि मदद तभी मिलेगी, जब इस्लाम कबूल कर निकाह करेगी.
आरोपी अब्दुल रहमान पहले ही तीन निकाह कर चुका है. इसके बाद भी लड़की पर दबाव बनाकर वॉट्सएप पर कलमा पढ़वाया गया और उसका नाम बदलकर मरियम रखा गया. दिल्ली भेजे जाने से पहले लड़की से कहा गया था कि वह अपने मोबाइल और सिम को तोड़कर फेंक दे, लेकिन ऐन वक्त पर आगरा पुलिस की टीम ने सक्रियता दिखाते हुए उसे बचा लिया.