‘मजदूरी के पैसे लेकर जल्द वापस लौट आऊंगा’, धराली आपदा में लापता हुए संभल के सलमान और फुरकान की लास्ट कॉल, परिजनों ने बताई पूरी कहानी

उत्तराखंड के उत्तरकाशी के धराली में बादल फटने के बाद आई आपदा में संभल के दो युवक लापता हो गए हैं. ये दोनों डेढ़ महीने से मुरादाबाद और बिजनौर निवासी युवकों के साथ धराली के होटल में वेल्डिंग का काम कर रहे थे. आपदा आने से पहले परिजनों से हुई फोन पर बातचीत के दौरान युवकों ने जल्द अपनी मजदूरी का पैसा लेकर वापस लौटने की बात कही थी, लेकिन आपदा के बाद से अचानक वे लापता हो गए हैं.

लापता युवकों के साथियों के द्वारा उनको आपदा के समय भागते हुए देखे जाने की बात परिजनों को बताई गई. इसपर दोनों युवकों के परिजन अपने-अपने बच्चों की सलामती की दुआ कर रहे हैं. उनकी मां का रो-रो कर बुरा हाल है. ‘आज तक’ से बातचीत के दौरान उन्होंने अपना दर्द बयां किया है.

दरअसल, नखासा थाना इलाके के रुकनुद्दीन सराय इलाके के निवासी  34 वर्षीय सलमान और 19 वर्षीय फुरकान और एक अन्य युवक उत्तरकाशी के होटल में वेल्डिंग का काम करने के लिए गए थे. डेढ़ महीने से संभल, बिजनौर और मुरादाबाद के युवकों का ग्रुप धराली के होटल में कार्यरत था.

फुरकान और सलमान की परिजनों से अक्सर बात होती थी. तब दोनों बहुत जल्द घर वापस लौटने का भरोसा देते थे. 4 अगस्त को फुरकान और सलमान ने अपनी मजदूरी के पैसे लेकर वापस लौटने का वादा किया था. लेकिन 5 अगस्त को धराली में बादल फटने के कारण आई आपदा के बाद संभल के तीनों युवक लापता हो गए और उसके बाद से इनका परिजनों से संपर्क टूट गया.

हालांकि, लापता युवकों के परिजनों के मुताबिक एक युवक को सेना के जवानों के द्वारा रेस्क्यू कर लिया गया था जो कि अब सेना के ही कैंप में है. बताया जा रहा है कि होटल में रह रहे युवक सलमान-फुरकान आदि जिस समय खाना लेने के लिए नीचे उतरकर आए थे तभी सामने से बादल फटने के बाद वो जान बचाने के लिए भागे थे. इस घटना के बाद से फुरकान और सलमान लापता हैं.

उनके परिजनों को धराली में आपदा आने की खबर मिली तो उन्हें चिंता हुई और उन्होंने फोन पर संपर्क करने की कोशिश की, लेकिन कोई जानकारी नहीं मिल सकी. अब परिजनों ने कुछ लोगों को धराली भेजा है ताकि उनके बच्चों का कुछ पता चल सके. फिलहाल, धराली में आपदा वाली जगह पर रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है.

फुरकान और सलमान की मां ने अपने बेटे से फोन पर आखिरी बातचीत जिक्र करते हुए दर्द बयां किया है और उत्तराखंड सरकार व सेना के जवानों से जल्द से जल्द बच्चों को तलाशने की अपील करते हुए सुरक्षित वापसी की दुआ की है.

वहीं, फुरकान के पिता मोहम्मद अयूब का कहना है कि जिस समय आपदा आई उस समय मेरा इकलौता बेटा खाने-पीने का सामान लेने के लिए गया हुआ था. उसके आंखों के सामने ही पहाड़ से मलबा नीचे गिरा. बेटे ने वहां से भागने की कोशिश की और उसी के बाद से हमारा उससे संपर्क टूट गया. तीन दिन बाद यह पता लगा कि हमारा लड़का धराली आपदा में लापता हो गया है. बेटे के साथ वाले युवकों ने बताया कि हम लगातार उसकी तलाश कर रहे हैं लेकिन अभी तक उसकी कोई खबर नहीं मिल सकी है. बस ईश्वर से दुआ कर रहे हैं कि जो बच्चे वहां पर फंसे हुए हैं उन्हें सलामत वापस घर लौटा दें.

उधर, लापता युवक सलमान के पिता मोहम्मद आरिफ कहना है कि 3 अगस्त को बेटे से बातचीत हुई थी तो हमने उसका हाल-चाल पूछा था. इसके बाद हमने 5 अगस्त को कॉल की तो उससे कोई बातचीत नहीं हो सकी और उसके बाद 7 अगस्त तक भी हमारी कोई बातचीत नहीं हुई. जब ठेकेदार से बातचीत हुई तो उसने इस बारे में बताया कि हमारे कुछ लड़के लापता हैं.

फिलहाल, परिजनों ने नखासा थाना पुलिस को इस मामले की सूचना दे दी है. पुलिस ने परिजनों को  उत्तरकाशी की हेल्पलाइन नंबर पर शिकायत दर्ज करने की बात कही है. वह भी अपने स्तर से जांच-पड़ताल कर रही है.

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