चंदौली: अघोर संप्रदाय के प्रवर्तक संत बाबा कीनाराम की जन्मस्थली रामगढ़ (बलुआ) स्थित बाबा कीनाराम मठ में इस वर्ष भी तीन दिवसीय जन्मोत्सव धूमधाम से मनाया जाएगा.
22 से 24 अगस्त तक होने वाले इस आयोजन की तैयारियों का जायजा लेने जिलाधिकारी चंद्र मोहन गर्ग और पुलिस अधीक्षक आदित्य लांग्हे ने स्थलीय निरीक्षण किया.
निरीक्षण के दौरान मठ प्रशासन ने अधिकारियों को सड़कों पर गड्ढों, साफ-सफाई और विद्युत व्यवस्था से जुड़ी समस्याओं की जानकारी दी। जिलाधिकारी ने पीडब्ल्यूडी को तत्काल सड़कें दुरुस्त करने के निर्देश दिए। साथ ही बेहतर सफाई, शुद्ध पेयजल, निर्बाध विद्युत आपूर्ति, बैरिकेटिंग, पार्किंग, खोया-पाया केंद्र और स्वास्थ्य सुविधाओं की सुनिश्चितता के आदेश भी दिए। उन्होंने संबंधित विभागों को जिम्मेदारी के साथ कार्य पूर्ण करने और आपसी तालमेल बनाए रखने को कहा।
संत बाबा कीनाराम का जन्म रामगढ़ गांव में हुआ था और वे अघोर संप्रदाय के प्रवर्तक माने जाते हैं। उन्होंने समाज में व्याप्त भेदभाव, आडंबर और कुरीतियों का विरोध करते हुए घृणारहित जीवन और मानव सेवा का संदेश दिया। उनकी तपस्थली वाराणसी स्थित कृष्ण कुंड आज भी अघोरी साधकों का प्रमुख केंद्र है. बाबा कीनाराम ने अघोर परंपरा को सामाजिक न्याय और समानता से जोड़कर इसे आमजन तक पहुंचाया, जिसके कारण वे भारतीय संत परंपरा के महान सुधारकों में गिने जाते हैं.
हर वर्ष उनकी जन्मस्थली पर भाद्रपद मास में भव्य जन्मोत्सव आयोजित होता है, जिसमें देशभर से साधु-संत और श्रद्धालु पहुंचते हैं. कीर्तन, धार्मिक अनुष्ठान और अखंड भंडारे के माध्यम से श्रद्धालु संत के प्रति आस्था व्यक्त करते हैं। इस बार भी लाखों श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ने की संभावना है.