सुपौल में 985 शिक्षकों पर गिरी विभागीय गाज, पूरी खबर में देखिए शिक्षकों की लिस्ट

सुपौल: सुपौल में एक बार फिर सरकारी शिक्षकों पर बड़ी कार्रवाई हुई है. एक साथ 985 शिक्षकों पर विभागीय गाज गिरी है. समाहरणालय परिसर में जिलाधिकारी सावन कुमार की अध्यक्षता में शिक्षा विभाग की मासिक समीक्षा बैठक आयोजित हुई. बैठक में डीडीसी, डीपीओ, विभिन्न प्रखंडों के प्रखंड बीईओ एवं शिक्षा विभाग के अन्य कर्मी उपस्थित रहे. बैठक में विभागीय कार्यों की समीक्षा की गई और डीएम ने कई बिंदुओं पर कड़ा निर्देश जारी किया.

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डीएम ने बताया कि 2 सितंबर को 985 शिक्षकों ने ई-शिक्षाकोष पोर्टल पर उपस्थिति दर्ज नहीं की. ऐसे सभी शिक्षकों का एक दिन का वेतन स्थगित रखने का आदेश दिया गया है. यदि कोई शिक्षक सरकारी कार्य या प्रशिक्षण पर प्रतिनियुक्त नहीं था और विद्यालय से अनुपस्थित रहा, तो उसके खिलाफ निलंबन की कार्रवाई होगी.

बीईओ त्रिवेणीगंज की अनुश्रवण रिपोर्ट स्पष्ट न होने पर डीएम ने नाराजगी जताई. साथ ही उन्होंने भोजनावकाश के बाद बच्चों की उपस्थिति सुनिश्चित करने का निर्देश दिया. कस्तुरबा विद्यालयों में अधूरे नामांकन को एक सप्ताह के भीतर पूर्ण करने और बच्चों के ठहराव की गारंटी करने के भी निर्देश दिए.

सभी विद्यालयों को अनुरक्षण व मरम्मति के लिए 50-50 हजार रुपये दिए गए हैं. डीएम ने कहा कि इस राशि से बिजली, पानी, शौचालय और रैम्प जैसी सुविधाओं को प्राथमिकता दी जाए. 15 दिन बाद उप विकास आयुक्त इसकी समीक्षा करेंगे.

बैठक में यह भी बताया गया कि 10,563 छात्रों का डीबीटी बाधित है. डीएम ने तीन दिनों के भीतर सभी प्रधानाध्यापकों की बैठक बुलाकर इसका समाधान करने का आदेश दिया. यदि कोई पात्र छात्र योजना से वंचित होता है तो जिम्मेदारी प्रधानाध्यापक की होगी.

मध्याह्न भोजन योजना पर डीएम ने स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने को कहा. बरसात में जलजमाव और मच्छरों की समस्या को देखते हुए विद्यालय परिसर में ब्लीचिंग पाउडर का छिड़काव और साफ-सफाई का निर्देश दिया गया.

खाद्यान वितरण में गड़बड़ी पाए जाने पर तत्काल डीईओ को सूचना देने का आदेश भी दिया गया. वहीं, असैनिक संभाग में निर्माण कार्यों की धीमी और असंतोषजनक प्रगति पर नाराजगी जताते हुए सहायक अभियंता मो. इसरारूल हसन के विरुद्ध विभागीय कार्रवाई की अनुशंसा करने का निर्देश दिया गया.

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