चुनाव आयोग ने देशभर में वोटर लिस्ट के विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) की शुरुआत अक्टूबर से करने का हरी झंडी दे दी है। यह प्रक्रिया बिहार में पहले ही सफलतापूर्वक लागू की जा चुकी है और अब इसे पूरे देश में लागू किया जाएगा। इस गहन पुनरीक्षण का उद्देश्य मतदाता सूची को अधिक सटीक और भरोसेमंद बनाना है।
इस दौरान प्रत्येक राज्य और जिला निर्वाचन अधिकारी अपने क्षेत्र में वोटर सूची का पूरा निरीक्षण करेंगे। इसमें मौजूदा वोटरों की जानकारी की पुष्टि की जाएगी और आवश्यक होने पर नामों को जोड़ने, हटाने या संशोधित करने का काम किया जाएगा। आयोग ने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वे प्रत्येक मतदाता के पते और पहचान की जांच करने में पूरी सावधानी बरतें।
SIR प्रक्रिया में मतदाताओं के पते, उम्र, लिंग और अन्य विवरणों का निरीक्षण किया जाएगा। इसके लिए आयोग ने विशेष टीमों का गठन किया है, जो प्रत्येक क्षेत्र में जाकर जनता से संपर्क करेंगी। मतदाताओं को भी यह सुनिश्चित करना होगा कि उनके विवरण सही और अपडेटेड हों। जिन मतदाताओं के दस्तावेज़ अधूरे या गलत पाए गए, उन्हें सही करने का अवसर दिया जाएगा।
चुनाव आयोग का कहना है कि यह कदम आगामी चुनावों में पारदर्शिता और विश्वसनीयता सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है। बिहार में इसे लागू करने के अनुभव के अनुसार, इससे मतदाता सूची में पुराने और डुप्लीकेट नाम हटाए गए और नए योग्य मतदाताओं को जोड़ने में मदद मिली। आयोग इस प्रक्रिया को सरल और त्वरित बनाने के लिए तकनीकी साधनों का भी उपयोग कर रहा है।
अधिकारी यह भी सुनिश्चित करेंगे कि ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में सभी मतदाता समान रूप से शामिल हों। इस गहन पुनरीक्षण के दौरान मतदाता अपनी जानकारी ऑनलाइन या नजदीकी चुनाव कार्यालय में जाकर अपडेट कर सकते हैं।
SIR की शुरुआत अक्टूबर से होने के कारण आयोग ने जनता से आग्रह किया है कि वे अपनी वोटर सूची की जांच समय पर करें और आवश्यक सुधार कराएं। इससे आने वाले चुनावों में सभी योग्य मतदाता अपने अधिकार का सही उपयोग कर सकेंगे और मतदाता सूची अधिक सटीक और भरोसेमंद बनेगी।