संवेदनशीलता की मिसाल बनी सूरजपुर पुलिस, बच्चों के चेहरे पर लौटाई मुस्कान

सूरजपुर: पुलिस वर्दी का जिक्र आते ही लोगों के मन में कठोर अनुशासन और सख्ती का भाव उभरता है, लेकिन सूरजपुर पुलिस ने एक बार फिर साबित कर दिया कि यही वर्दी जरूरतमंदों के लिए संवेदना और करुणा का प्रतीक भी है. जिले के संवेदनशील DIG एवं वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक प्रशांत कुमार ठाकुर के मार्गदर्शन में सूरजपुर पुलिस लगातार सामाजिक सरोकार से जुड़े कार्यक्रम चला रही है. इन्हीं प्रयासों की कड़ी में थाना प्रेमनगर की टीम ने दूरस्थ वनांचल ग्राम हरिहरपुर के बच्चों के चेहरे पर मुस्कान बिखेर दी.

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जब पुलिसकर्मी हरिहरपुर के मिडिल स्कूल पहुंचे तो उन्होंने देखा कि पांच मासूम बच्चे बिना चप्पल के नंगे पैर ही स्कूल आने को मजबूर थे, गरीबी और अभाव की यह तस्वीर देखकर थाना प्रभारी विराट विशी और उनकी टीम ने तुरंत बच्चों को नए-नए चप्पल पहनाए. उस क्षण बच्चों की आंखों में चमक और चेहरे पर आई खुशी का आलम ऐसा था कि मानो उन्हें जिंदगी का नया तोहफा मिल गया हो.

पुलिस का यह कदम केवल चप्पल देने तक सीमित नहीं रहा. टीम ने प्राथमिक और मिडिल स्कूल के सभी बच्चों को टॉफियां भी बांटी और उन्हें रोज स्कूल आने तथा मन लगाकर पढ़ाई करने की प्रेरणा दी. बच्चों की खिलखिलाहट से पूरा स्कूल गूंज उठा और वहां मौजूद शिक्षक भी पुलिस की इस पहल से अभिभूत हो गए.

इसी दौरान पुलिस को यह भी पता चला कि स्कूल में चार बच्चे ऐसे हैं, जिनके माता-पिता अब इस दुनिया में नहीं हैं. अनाथ होने की पीड़ा उनके मासूम चेहरों पर साफ झलक रही थी. ऐसे बच्चों को देखकर थाना प्रभारी विराट विशी ने विशेष संवेदनशीलता दिखाते हुए उन्हें हर प्रकार की मदद और सहयोग देने का भरोसा दिलाया. उन्होंने कहा कि पुलिस सिर्फ कानून-व्यवस्था की रखवाली नहीं करती बल्कि समाज के सबसे कमजोर वर्ग का सहारा भी बनती है.

इस मानवीय पहल में आरक्षक सत्यम सिंह, दीपक यादव, महिला आरक्षक सिंधु कुजूर और अंजू सिंह ने भी सक्रिय भूमिका निभाई. सभी ने मिलकर बच्चों से आत्मीय संवाद किया और उन्हें यह विश्वास दिलाया कि पुलिस उनके साथ खड़ी है. पुलिस की यह पहल ग्रामीणों के बीच गहरी चर्चा का विषय बन गई है. गांव के बुजुर्गों का कहना है कि इस तरह की गतिविधियां बच्चों के मन में शिक्षा के प्रति उत्साह जगाने के साथ-साथ पुलिस के प्रति विश्वास भी बढ़ाती हैं. वहीं, अभिभावकों ने भी सूरजपुर पुलिस की इस संवेदनशील पहल को सराहते हुए कहा कि यह बच्चों के जीवन में नई ऊर्जा और उम्मीद का संचार करेगी.

DIG प्रशांत कुमार ठाकुर की दूरदर्शी सोच और मानवीय दृष्टिकोण ने सूरजपुर पुलिस को सामाजिक सरोकारों से जोड़ दिया है. यही वजह है कि अब पुलिस केवल वर्दी में सख्त पहरेदार नहीं, बल्कि समाज के नन्हें सपनों की रक्षा करने वाली शक्ति बनकर उभर रही है.

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