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रिश्तेदारी की आड़ में दरिंदगी: युवती से 25 दिन तक दुष्कर्म, आरोपी को 11 साल की कैद

अयोध्या: रिश्तेदारी का भरोसा तोड़कर युवती से दरिंदगी करने वाले हैवान को अदालत ने कठोर सजा सुनाई है. विशेष न्यायाधीश पॉक्सो एक्ट तृतीय दीपक यादव ने आरोपी संजय कुमार को दोषी करार देते हुए 11 साल की कठोर कैद और जुर्माने की सजा सुनाई है.

अदालत का फैसला

न्यायालय ने संजय कुमार को धारा 376 आईपीसी में 10 साल की कैद और 50 हजार रुपये जुर्माना तथा धारा 323 आईपीसी में एक साल की कैद व एक हजार रुपये जुर्माने की सजा दी. सभी सजाएं साथ चलेंगी. जुर्माने की आधी राशि पीड़िता को क्षतिपूर्ति के रूप में दी जाएगी.

ऐसे दिया वारदात को अंजाम

विशेष लोक अभियोजक अभिषेक रघुवंशी ने बताया कि घटना 15 मार्च 2015 की है। आरोपी संजय कुमार, जो रिश्तेदारी की आड़ में घर आता-जाता था, युवती को झांसा देकर अपने साथ ले गया। उसने युवती को फोन कर कहा कि उसकी मौसी बीमार है. सड़क पर पहुंचते ही युवती को कार में बैठा लिया. बाईपास पर चाय में नशीला पदार्थ पिलाकर बेहोश किया और फिर उसे लगातार प्रताड़ित किया.

प्रयागराज व चित्रकूट में 25 दिन तक कैद

पीड़िता के अनुसार आरोपी उसे प्रयागराज और चित्रकूट ले गया। वहां अलग-अलग जगहों पर कैद कर 25 दिनों तक जबरन दुष्कर्म करता रहा. विरोध करने पर मारपीट करता और जान से मारने की धमकी देता। 11 अप्रैल को पुलिस ने अयोध्या के दर्शननगर ट्रामा सेंटर के पास से पीड़िता को छुड़ाया और आरोपी को गिरफ्तार किया.

आरोपी का बचाव और अदालत का निर्णय

संजय कुमार ने अदालत में खुद को निर्दोष बताते हुए कहा कि उसने वादी को 50 हजार रुपये उधार दिए थे और पैसे मांगने पर उसे झूठे केस में फंसा दिया गया. लेकिन यह दलील अदालत में साबित नहीं हो सकी. कोर्ट ने पॉक्सो एक्ट और अपहरण के आरोपों से आरोपी को दोषमुक्त किया, मगर दुष्कर्म और मारपीट में उसे सजा सुनाई.

यह फैसला उन मामलों में एक बड़ा संदेश है जहां रिश्तेदारी की आड़ में महिलाओं के साथ विश्वासघात और अपराध किए जाते हैं.

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