राजस्थान सरकार ने राज्य के सरकारी कॉलेजों को अब भगवा रंग में रंगने का आदेश जारी किया है. जयपुर के कमिश्नरेट कॉलेज एजुकेशन के फर्स्ट फेज में 20 कॉलेजों के लिए यह आदेश जारी किया गया है, जिसमें कॉलेजों की बिल्डिंग के सामने वाले एरिया व एंट्रेंस हॉल का रंग व्हाइट होल्ड और ऑरेंज ब्राउन रंग के एशियन पेंट से रंगना होगा. कॉलेजों को पेंट करने के बाद उसकी फोटो सात दिन के अंदर शिक्षा विभाग को भेजनी होगी.
राज्य सरकार का कहना है कि यह फैसला सरकारी स्कूल-कॉलेजों में पढ़ाई के लिए शांति और पॉज़िटिव वातावरण बनाने के लिए लिया गया है, जिसमें कैंपस के मेन गेट को भगवा रंग के पेंट रंग जाएगा. राजस्थान के उच्च शिक्षा विभाग का संचालन करने वाला कॉलेज शिक्षा आयुक्तालय ने इसे ‘कायाकल्प योजना’ कहा है.
World War 3 will be for language, not land! pic.twitter.com/0LYWoI3K0r
— India 2047 (@India2047in) July 4, 2025
पहले फेज में दो-दो राजकीय महाविद्यालयों में होगा पेंट
कायाकल्प योजना के तहत पायलट प्रोजेक्ट के रूप में पहले चरण में संभाग के दो-दो राजकीय महाविद्यालयों को भगवा रंग से रंगा जाएगा. विभाग की ओर से जारी नोटिस में कहा गया है, ‘प्रदेश के महाविद्यालय उच्च शिक्षा विभाग के प्रमुख केंद्र हैं. विद्यार्थियों के लिए महाविद्यालयों का शैक्षिक वातावरण एवं परिदृश्य ऐसा हो कि महाविद्यालय में प्रवेश करते ही सकारात्मकता की अनुभूति हो. साथ ही समाज में उच्च शिक्षा के प्रति एक अच्छा संदेश जाए. इसलिए महाविद्यालयों में सकारात्मक, स्वच्छ, स्वस्थ्य और शैक्षिक वातावरण के निर्माण के लिए महाविद्यालयों का कायाकल्प किया जाना है.’
नोटिस में आगे लिखा है, ‘कायाकल्प योजना के तहत पहले फेज में प्रत्येक संभाग के 2-2 राजकीय महाविद्यालयों को शामिल करते हुए कुल 20 महाविद्यालयों में भवन के सामने के भाग और प्रवेश हॉल को रंग-पेंट व्हाइट गोल्ड 8292 और ऑरेंज ब्राउन 7974 से सात दिन में रंगा जाएगा. काम पूरा होने के बाद इसके फोटोज आयुक्ताल्य की आयोजना शाखा की ई-मेल आईडी jdplan.cce@gamil.com पर भेजना होगा.’
पहले फेज में इन 20 सरकारी कॉलेजों में होगा पेंट
कांग्रेस ने उठाया सवाल
कांग्रेस ने इसे शिक्षा के भगवाकरण और राजनीतिकरण बताया है.राजस्थान एनएसयूआई अध्यक्ष विनोद जाखड़ ने कहा कि जहां राज्य में लेक्चरर के हजारों पद खाली हैं, कॉलेजों में भवन नहीं हैं, बैठने के बेंच नहीं हैं, वहां पर अपनी राजनीति के लिए सरकार जनता के पैसे खर्च कर रही है.