राजस्थान में साइबर ठगों ने एक बुजुर्ग महिला को एक सप्ताह तक डिजिटल अरेस्ट बनाए रखा और फिर उसके खाते से 80 लाख रुपये उड़ा लिए. इसके लिए आरोपियों ने 150 बैंक खातों का इस्तेमाल किया. राजस्थान के स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (SOG) ने डिजिटल अरेस्ट कर ठगी करने वाली इस पूरी गैंग का भंडाफोड़ किया है.
SOG ने इस गैंग के 15 ठगों को गिरफ्तार किया है. उनके कब्जे से 13 लाख रुपये से ज्यादा कैश समेत डेबिट कार्ड, पासबुक, बैंक खाते समेत अन्य सामग्री बरामद की है. गैंग के शातिरों ने खुद को मुंबई साइबर क्राइम का अधिकारी बताकर एक महिला को वाट्सएप पर डिजिटल अरेस्ट कर उसको झांसा देकर मोटी रकम वसूली थी.
एसओजी के अतिरिक्त महानिदेशक वीके सिंह ने बताया कि अजमेर में एक बुजुर्ग महिला से वाट्सएप वीडियो कॉल कर उसे डिजिटल अरेस्ट कर लिया. 23 नवंबर से लेकर 30 नवंबर तक उसके साथ साइबर ठगी की गई. इस दौरान साइबर ठगों ने बुजुर्ग महिला के साथ 80 लाख रुपये की ठगी की. अजमेर में ये केस दर्ज होने के बाद साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन, एसओजी, जयपुर में ट्रांसफर किया गया.
इसके बाद अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक मोहेश चौधरी के नेतृत्व में टीम गठित कर गहन पड़ताल की गई. इसको लेकर सबसे पहले ठगी गई राशि का मनी ट्रेल का विश्लेषण करने पर पाया की यह राशि 150 खातों में ट्रांसफर की गई है. इसके बाद एसओजी अधिकारियों ने सभी खातों का समग्र विश्लेषण करने पर संदिग्ध खाता धारको को चिन्हित किया. जांच में यह भी पाया गया की ठगी की राशि विभिन्न खातों से होती हुई नगद निकासी के द्वारा साइबर ठगों के मार्फत यूएसडीटी क्रिप्टो करेंसी में परिवर्तन किया जा रहा था.
इस पूरे मामले में एसओजी ने बैंक खाते उपलब्ध करवाने वाले आरोपी राकेश, दिलीप, सुमर्थ, रजनेश, अंकित, राहुल, मनराज को गिरफ्तार किया. इसके बाद आरोपी दिलखुश इन खाताधारको से खाते के किट इकट्टा कर आरोपी संजीत, चैनसिंह, संदीप इन लोंगो को उपलब्ध कराते थे. वहीं आरोपी संजीत और चैनसिंह ठगी की राशि को नगद रुपये में लेकर उसे आरोपी तरुण, देवेन्द्र सिंह, विनेश कुमार और बृज किशोर को देकर यूएसडीटी में बदलवा लेते थे. साइबर ठगों द्वारा ठगी की राशि के कमीशन को अपने मंहगे शौक पूरा करने के काम में लिया जाता था.
गिरफ्तार आरोपियों से 13 लाख रुपये, 27 मोबाइल फोन, 43 डेबिट कार्ड 19 पासबुक और 15 अलग-अलग बैंकों के चैकबुक, 16 सिम कार्ड, 13 पेन कार्ड/आधार कार्ड, 1 लेपटॉप, 1 गाड़ी स्विप्ट VDI बरामद किए गए हैं. गिरफ्तार साइबर ठगों द्वारा देशभर में कई साइबर ठगी के प्रकरणों में संलिप्तता होने की संभावना है, इसको लेकर एसओजी जांच में जुटी है.