छत्तीसगढ़ के जांजगीर-चांपा जिले में अवैध रेत खनन का मामला फिर से सुर्खियों में आ गया है। सोशल मीडिया पर कांग्रेस विधायक का कथित ऑडियो वायरल हुआ है, जिसमें रेत खनन और परिवहन के बदले में पैसे के लेनदेन की चर्चा की जा रही है। इस ऑडियो में कलेक्टर और एसडीएम तक को हिस्सेदारी देने की बात कही गई है। बताया जा रहा है कि विधायक को तीन लाख रुपये और तत्कालीन अफसरों को पांच लाख रुपये देने की बात इसमें सामने आई है।
जिले में लंबे समय से अवैध रेत खनन को लेकर शिकायतें मिलती रही हैं। स्थानीय लोगों का आरोप है कि प्रशासन की मिलीभगत से यह कारोबार लगातार फल-फूल रहा है। वायरल ऑडियो ने इन आशंकाओं को और मजबूत कर दिया है। इसमें यह भी सुनाई दे रहा है कि रेत के ट्रांसपोर्ट पर किस तरह से तय रकम वसूली जा रही थी और किसे कितनी हिस्सेदारी दी जानी थी।
मामला सामने आने के बाद विपक्ष ने सरकार पर सवाल उठाने शुरू कर दिए हैं। भाजपा नेताओं का कहना है कि यह साफ सबूत है कि कांग्रेस शासनकाल में रेत माफिया को खुली छूट मिली हुई थी। उन्होंने मांग की है कि मामले की उच्च स्तरीय जांच कराई जाए और दोषियों पर कड़ी कार्रवाई हो।
वहीं, कांग्रेस खेमे ने इन आरोपों को राजनीतिक साजिश बताया है। उनका कहना है कि चुनावी माहौल में विपक्ष सस्ती राजनीति कर रहा है और वायरल ऑडियो की सत्यता की जांच जरूरी है।
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ में रेत खनन को लेकर पहले भी कई विवाद उठ चुके हैं। नदियों से अवैध खनन ने पर्यावरण को नुकसान पहुंचाया है और राजस्व को भी भारी हानि हुई है। अब विधायक के कथित ऑडियो के सामने आने से इस मुद्दे ने और तूल पकड़ लिया है। प्रशासनिक स्तर पर इस पूरे मामले में जांच के आदेश दिए जा सकते हैं।