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नाबालिग लड़की को रास्ते से ले गई चाची, 2 लाख रुपये में बेच दिया, पुलिस ने मासूम को बचाया

ईटानगर: अरूणाचल प्रदेश के ईटानगर में कथित तौर पर 2 लाख रुपये में बेची गई 10 साल की लड़की को शुक्रवार को ईटानगर के एक घर से बचा लिया गया है. इस बात की जानकारी पुलिस ने दी. नाबालिग को मेडिकल जांच के लिए ले जाया गया है.

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ईटानगर के पुलिस अधीक्षक (एसपी) रोहित राजबीर सिंह द्वारा जारी बयान में कहा गया कि बचाव अभियान असम और अरुणाचल प्रदेश के पुलिस बलों द्वारा संयुक्त रूप से चलाया गया था. उन्होंने कहा कि तिनसुकिया पुलिस स्टेशन और ईटानगर महिला पुलिस स्टेशन के कर्मियों की टीम ने लड़की को ईटानगर के लॉबी इलाके में चेलो आव नामक एक महिला के घर से बचाया.

लडकी को मेडिकल जांच के लिए ले जाया गया

उन्होंने बताया कि नाबालिग को मेडिकल जांच के लिए ले जाया गया है. एसपी ने कहा कि 26 दिसंबर को असम के तिनसुकिया जिले में अपने स्कूल से लौटते समय लड़की और उसके कजिन को एक महिला ने रोक लिया था. इस महिला की पहचान उनकी चाची के रूप में की गई.

उन्होंने कहा कि महिला उन्हें अंतर-राज्यीय सीमा पर बांदरदेवा ले गई, जहां उसने उनके लिए नए कपड़े खरीदे. इसके बाद 10 वर्षीय लड़की को फिर ईटानगर लाया गया, जहां उसे 2 लाख रुपये में बेच दिया गया, जबकि दूसरी लड़की को एक अज्ञात व्यक्ति को सौंप दिया गया.

तस्करी नेटवर्क में शामिल लोगों को पकड़े की कोशिश

सिंह ने कहा कि बचाई गई लड़की के कजिन का पता लगाने और तस्करी नेटवर्क में शामिल सभी लोगों को पकड़ने के प्रयास जारी हैं. मामले को पूरी तरह से उजागर करने के लिए अधिकारियों ने जांच तेज कर दी है.

सिंह ने ईटानगर राजधानी क्षेत्र के निवासियों से नाबालिगों को घरेलू सहायक के रूप में काम पर न रखने को कहा. उन्होंने इस बात पर भी प्रकाश डाला कि इस तरह की हरकतें कानून के तहत दंडनीय हैं. अधिकारी ने संभावित धोखाधड़ी और शोषण से बचने के लिए घरेलू कामगारों को काम पर रखते समय पुलिस वेरिफिकेशन के महत्व पर भी जोर दिया.

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