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नौ साल से न्याय की तलाश में बजरंग बली

छतरपुर : जनसुनवाई मे आम आदमी की सुनवाई कैसी होती है इसका जीता जागता उदाहरण मंगलबार को देखने मिला. 2016 से बजरंग बली अपने पुजारी के साथ अधिकारियों के चक्कर लगा रहे है, पर उन्हें उनकी जमीन नहीं मिल पा रही है. जबकि न्यायालय से बजरंग बली केस जीत गए हैं.

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मंगलवार को पुजारी पुरूषोतम नायक गोदी मे हनुमानजी की प्रतिमा लेकर न्याय की तलाश में ,एसपी और कलेक्टर के पास जनसुनवाई में गये थे. आवेदन देकर उन्होंने बताया कि नौगांव तहसील के फुलवारा गांव के मंदिर की जमीन पर दबंग लोग कब्जा किए हुए है. इसके लिये सिविल न्यायालय मे केस भी दायर किया था.जिसका फैसला पहले 2016 मे और दोबारा के केस मे 2022 मे उनके पक्ष मे आने के बाद भी अब तक उस जमीन पर कब्जा नही मिल पाया है. जिस मंदिर पर हनुमानजी की मूतिँ बिराजना है.

न्यायालय के आदेश का पालन कराने वह हनुमानजी को साथ लेकर अधिकारियों के चक्कर लगा रहे है ,पुजारी के आवेदन पर एडीएम मिलन्द नागदेवे ने संबधित एसडीएम से बात कर इस मामले को तत्काल निराकरण करने के निर्देश दिए है .
अब आप अंदाज लगा सकते हैं कि प्रदेश का राजस्व अमला ज़ब न्यायालय के आदेश को भी अनदेखा करता हो, तब आम आदमी की जनसुनवाई में क्या सुनवाई होती होगी.

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