महासमुंद में रिटायरमेंट से ठीक पहले BEO सस्पेंड: 17 लाख के मुआवजे में गड़बड़ी, बिना छुट्टी मंजूरी के उठाया वेतन

छत्तीसगढ़ के महासमुंद जिले में वित्तीय अनियमितता का मामला सामने आया है। स्कूल शिक्षा विभाग ने पिथौरा के विकास खंड शिक्षा अधिकारी (BEO) केके ठाकुर को निलंबित कर दिया है। 30 अप्रैल को केके ठाकुर रिटायर होने वाले थे।

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मामला नेशनल हाईवे 53 के फोर लेन निर्माण से जुड़ा है। भगतदेवरी के शासकीय मिडिल स्कूल की जमीन का अधिग्रहण किया गया था। इसके मुआवजे के रूप में शासन ने स्कूल के नाम 16 लाख 61 हजार 163 रुपए जारी किए थे।

मुआवजा राशि का निजी उपयोग

BEO ठाकुर ने इस राशि को बिना किसी लिखित स्वीकृति के 2 साल तक अपने पास रखा और निजी उपयोग में लिया। इतना ही नहीं, वे पद का दुरुपयोग करते हुए बिना अवकाश स्वीकृत कराए छुट्टी पर रहे और इस अवधि का वेतन भी निकाल लिया।

छत्तीसगढ़ वित्तीय संहिता और कोषालय संहिता का उल्लंघन करने के कारण उन्हें दोषी पाया गया। इसके बाद स्कूल शिक्षा विभाग के अवर सचिव ने उनके निलंबन के आदेश जारी किए हैं। केके ठाकुर 30 अप्रैल को सेवानिवृत्त होने वाले थे, इसके ठीक 2 दिन पहले ही जेडी ने उन्हें सस्पेंड कर दिया है।

पहले भी रहा विवादों से नाता

विकासखंड शिक्षा अधिकारी केके ठाकुर का नाम पहले भी विवादों में रहा है। डेढ़ साल पहले बसना विधायक संपत अग्रवाल के मौखिक आदेश पर बीईओ ठाकुर ने वजेपुर के एक शिक्षक को 76 दिनों के लिए अयोध्या में आम भंडारे में सेवा देने के लिए विभागीय लिखित आदेश जारी किया था। इस मामले में भी बीईओ ठाकुर और शिक्षक को डीईओ ने नोटिस जारी किया था।

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