छत्तीसगढ़ के पूर्व सीएम भूपेश बघेल के बेटे की गिरफ्तारी के खिलाफ कांग्रेस ने 33 जिलों में 2 घंटे तक चक्काजाम किया। इस दौरान रायपुर में भूपेश बघेल ने कहा कि छत्तीसगढ़ में आर्थिक नाकेबंदी सफल रही है। यहां विष्णुदेव की सरकार अहमदाबाद से चल रही है। अडाणी के दफ्तर से संचालित हो रही है।
बघेल ने कहा कि सरकार को रमन कार्यकाल में मुख्य सचिव रहे अमन सिंह चला रहे हैं। अमन सिंह और अडाणी मिलकर अहमदाबाद से चला रहे हैं। छत्तीसगढ़ की संपदा को लूटना चाहते हैं। बस्तर में जंगल कट गए, तमनार में जंगल कट गए। षडयंत्र के तहत जल-जंगल जमीन को लूटा जा रहा है।
भूपेश ने कहा कि छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार बनते ही सरगुजा में पेड़ों की अवैध कटाई हो गई। हसदेव में जंगल कट गए। तमनार में जंगल कट गए। किसी के खिलाफ FIR नहीं हुई। ये छत्तीसगढ़ की संपदा और जल-जंगल जमीन को बचाने की लड़ाई है।
वहीं सरगुजा, बस्तर, दुर्ग, बिलासपुर और रायपुर संभाग की सड़कों पर कांग्रेसियों ने ED और बीजेपी सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। सरगुजा में कांग्रेसी रघुपति राघव गाकर विरोध जताया। बिलासपुर में सकरी-पेंड्रीडीह फ्लाईओवर के नीचे चक्काजाम किया। पेंड्रा में कांग्रेसियों ने बारिश के बीच प्रदर्शन किया।
जानिए छत्तीसगढ़ में क्यों हो रही है आर्थिक नाकेबंदी ?
दरअसल, 18 जुलाई को भूपेश बघेल के बेटे चैतन्य बघेल को भिलाई से ED (प्रवर्तन निदेशालय) ने गिरफ्तार किया है। ED का आरोप है कि शराब घोटाले की रकम से चैतन्य को 16.70 करोड़ रुपए मिले हैं। शराब घोटाले से मिले ब्लैक मनी को रियल एस्टेट प्रोजेक्ट्स में इन्वेस्ट किया गया। रायपुर की स्पेशल कोर्ट ने चैतन्य को 22 जुलाई तक ED की 5 दिन की रिमांड पर भेजा है।