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राजस्थान कैबिनेट का बड़ा फैसला, भजनलाल सरकार ने इन नौ जिलों को किया खत्म

राजस्थान की भजनलाल शर्मा सरकार ने शनिवार को बड़ा फैसला किया है. शनिवार को सीएम भजनलाल की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में गहलोत सरकार के समय बनाए गए नौ जिलों को खत्म करने का फैसला किया गया है. कैबिनेट मंत्री जोगाराम पटेल और सुमित गोदारा ने शनिवार को संवाददाताओं को यह जानकारी ली.

उन्होंने कहा कि पिछली कांग्रेस सरकार में बनाए 20 नए जिलों को लेकर भजनलाल सरकार का बड़ा निर्णय लिया है. उन्होंने कहा कि 20 में से आठ जिले यथावत रहेंगे. नए संभाग जो पिछली सरकार ने बनाए, वो नहीं रहेंगे .

भजनलाल सरकार ने गहलोत राज में बने 9 जिले और तीन संभाग खत्म किए. जिन जिलों को निरस्त किया. वे हैं- दूदू, केकड़ी, शाहपुरा, नीमकाथाना, गंगापुरसिटी, जयपुर ग्रामीण, जोधपुर ग्रामीण, अनूपगढ़, सांचौर. उन्होंने कहा किबालोतरा, व्यावर, डीग, डीडवाना-कुचामन, कोटपूतली-बहरोड़, खैरथल-तिजारा, फलौदी और सलूम्बर ये जिले यथावत बने रहेंगे.

अब राजस्थान में कुल 41 जिले और सात संभाग

मंत्री जोगाराम पटेल ने कैबिनेट की बैठक के बाद आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि राजस्थान का 1956 में गठन हुआ था. इसके बाद से लंबे समय तक राजस्थान में कुल 26 जिले ही थे. लेकिन बाद में 7 और नए जिलों का गठन हुआ था, लेकिन पूर्व की गहलोत सरकार का जब कार्यकाल समाप्त हो रहा था.

उन्होंने कहा कि उस समय अंतिम समय में 17 नए जिले बनाने और तीन संभाग बनाने का निर्णय किया गया. पूर्व की कांग्रेस सरकार ने आचार संहिता की घोषणा से ठीक पहले जिलों के गठन की घोषणा की थी. यह न तो व्यवहारिक है और न ही जिलों की जनसंख्या के आधार पर सही ही है.

उन्होंने कहा कि जिलों के गठन को लेकर कैबिनेट की कमेटी में चर्चा हुई. यह कमेटी ने यह पाया कि बाद में बनाए गये जिले व्यवहारिक नहीं है. अब राजस्थान में 7 संभाग और कुल 41 जिले ही रहेंगे. इस तरह से सरकार ने गहलोत सरकार के समय बनाए गए 9 नए जिलों तीन नए संभाग- बांसवाड़ा, सीकर और पाली संभाग को समाप्त करने का निर्णय किया.

ग्राम पंचायतों का होगा पुनर्गठन

कानून मंत्री जोगाराम पटेल ने बताया कि राजस्थान की ग्राम पंचायतों का होगा पुनर्गठन होगा. इस वर्ष एक लाख बेरोजगारों को रोजगार देंगे. उन्होंने कहा किखाद्य सुरक्षा योजना में नए लाभार्थी जोड़े जाएंगे. उन्होंने कहा कि CET (कॉमन एलिजिबिलिटी टेस्ट) एग्जाम में तीन वर्ष तक का स्कोर अब काउंट होगा. पहले एक वर्ष तक का स्कोर काउंट होता था.

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