पटना : बिहार में गंगा नदी के जलस्तर में लगातार वृद्धि के कारण पटना जिले के मनेर, दानापुर, पटना सदर, बाढ़ और मोकामा प्रखंडों में बाढ़ की स्थिति गंभीर होती जा रही है. प्रशासन के अनुसार अब तक 50,000 से अधिक लोग बाढ़ से प्रभावित हो चुके हैं और प्रभावित क्षेत्रों से लोगों का पलायन शुरू हो गया है.बाढ़ प्रभावित लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने के लिए जिला प्रशासन ने 35 नावें तैनात की हैं और सभी सीओ, बीडीओ और एसडीओ को हाई अलर्ट पर रखा गया है. पटना के जिलाधिकारी डॉ. त्यागराजन एसएम ने बुधवार को दीघा पाटीपुल, मीनार घाट, कुर्जी बिंदटोली घाट समेत कई इलाकों का दौरा कर राहत कार्यों की समीक्षा की और पीड़ितों से मुलाकात की.
गंगा नदी का जलस्तर प्रति घंटे 1 सेंटीमीटर से अधिक की दर से बढ़ रहा है. पिछले 24 घंटे में गांधीघाट पर जलस्तर 49.57 मीटर से बढ़कर 49.87 मीटर, दीघाघाट पर 50.81 से 51.10 मीटर, मनेर में 52.74 से 52.99 मीटर, हाथीदह में 42.48 से 42.74 मीटर, और सोन नदी में कोईलवर पर 53.01 से 53.51 मीटर दर्ज किया गया है.रामनगर दियारा पंचायत (अथमलगोला) के वार्ड 9, 10, 11 और 12 पूरी तरह जलमग्न हो गए हैं, जहां सड़क पर पानी भरने से संपर्क पूरी तरह टूट चुका है.
राहत कार्यों के लिए प्रशासन ने 11 कोषांगों का गठन किया है, जिनमें एसडीएम, डीएसपी, सीओ और थाना प्रभारी को जिम्मेदारी दी गई है.नकटा दियारा, मीनार घाट और मरीन ड्राइव के पास बिंदटोली में शरणस्थल बनाए गए हैं, जहां टेंट, सामुदायिक रसोई, चिकित्सा सुविधा और पशुओं के लिए चारे की व्यवस्था की गई है.