बिहार विधानसभा चुनाव में अभी करीब एक साल का समय बचा हुआ है, लेकिन सियासत अभी से गरमा गई है. राजनीतिक पार्टियों की ओर से सियासी बिसात बिछाई जाने लगी है. सत्ताधारी पार्टी जेडीयू अभी से बिहार के सभी जिलों में कार्यकर्ता सम्मेलन करने लगी है. सोमवार को किशनगंज में कार्यकर्ता सम्मेलन हुआ, जिसमें पार्टी के नेता और पूर्व राज्यसभा सांसद गुलाम रसूल बलियावी ने विवादित बयान दे दिया. रसूल के बयान के बाद से सीमांचल की राजनीति गरम हो गई है.
गुलाम रसूल बलियावी ने सभा को संबोधित करते हुए कहा कि यह चुनाव नीतीश कुमार की इज्जत का नहीं है बल्कि बिहार और सीमांचल के मुसलमानों की इज्जत का है. उन्होंने कहा कि अगर नीतीश कुमार को वोट नहीं दिया तो जब गद्दारों का नाम लिखा जाएगा तो सबसे पहले आप का नाम लिखा जाएगा. उन्होंने कहा कि 19 साल जिसे आजमा चुके है और कोई बाहर का आ जाए और हवा बना दे और आप उसमें बह जाओ इसका मतलब है कि आप अपने पैरों पर खड़े नहीं है.
‘तीर का बटन दबा दिया तो…’
बलियावी यही नहीं रुके आगे उन्होंने कहा कि 2025 में अगर तीर का बटन दबा दिया तो सारे देश में यह संदेश जाएगा कि मुसलमान गुनहगार हो सकता है, लेकिन देश का गद्दार नहीं हो सकता. वही उन्होंने असदुद्दीन ओवैसी पर निशाना साधते हुए कहा कि जब काम पड़ता है तो जेडीयू के स्थानीय नेता करते है लेकिन चुनाव के समय हैदराबाद से बिरयानी लेकर आ जाते है तब आप लोग जय जय करते है.
किशनगंज जिले में आती हैं 4 विधानसभा सीटें
किशनगंज जिले की राजनीतिक पृष्ठभूमि की बात करें तो इसमें चार विधानसभा सीटें आती हैं. फिलहाल चारों पर इंडिया गठबंधन का कब्जा है. ऐसे में जनता दल यूनाइटेड यहां की सीट जीतना चाहती है और अभी से मुस्लिम वोट को गोलबंद करने की कोशिश पार्टी ने शुरू कर दिया है.
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