उत्तर प्रदेश के गोंडा से पूर्व बीजेपी सांसद बृज भूषण शरण सिंह अपने बेबाक बयानों को लेकर अक्सर चर्चा में रहते हैं. गुरूवार को उन्होंने कन्नौज जनपद के छिबरामऊ में विजय दशमी के कार्यक्रम में बोलते हुए कहा कि ‘पढ़ने-लिखने की कोई जरुरत नहीं है, क्यूंकि नौकरियों में सब कुछ आउटसोर्सिंग हो गया है.’ पूर्व सांसद अपनी लग्जरी लाइफ दिखाते हुए बोले मैं किराए के हेलिकॉप्टर से नहीं, अपने ख़रीदे हुए हेलिकॉप्टर से आया हूं. उन्होंने कहा कि सफलता पाने के लिए सफल लोगों के साथ रहो.
‘ पढ़ाई-लिखाई करके क्या करोगे’
दरअसल छिबरामऊ में पारंपरिक शस्त्र पूजन कार्यक्रम में बृजभूषण शरण सिंह शामिल होने के लिए पहुंचे थे. जब उन्होंने मंच से बोलना शुरू किया तो हर कोई हैरान रह गया. उन्होंने मौजूदा बेरोजगारी पर तंज कसते हुए कहा कि पढ़ाई-लिखाई करके क्या करोगे? आजकल नौकरियां आउटसोर्सिंग पर चल रही हैं, कुछ नहीं बचेगा. पूर्व सांसद यहीं नहीं रुके. उन्होंने अपनी संपत्ति का खुलासा करते हुए दावा किया कि वे किराए के वाहनों पर निर्भर नहीं हैं. बोले मैं अपने स्वामित्व वाले हेलीकॉप्टर से आया हूं. राजनीति या किसी भी क्षेत्र में सफल होने के लिए सफल लोगों के साथ रहना जरूरी है. बृजभूषण शरण सिंह का ये बयान सोशल मीडिया पर वायरल हो चुका है. लोग अपने-अपने तरीके से प्रतिक्रिया दे रहे हैं.
बृजभूषण शरण सिंह गोंडा और पूर्वी उत्तर बाहुबली नेता के रूप में जाने जाते हैं. वे छह बार लोकसभा सांसद रह चुके हैं, जिसमें पांच बार भाजपा (BJP) से और एक बार समाजवादी पार्टी (SP) से. बृजभूषण सिंह का राजनीतिक सफर 1980 के दशक में छात्र राजनीति से शुरू हुआ, जब वे अयोध्या में सकेत पीजी कॉलेज में पढ़ते थे. वे कांग्रेस यूथ विंग से जुड़े, लेकिन राम मंदिर आंदोलन के दौरान लालकृष्ण आडवाणी के साथ सक्रिय होकर 1991 में गोंडा से पहली बार BJP टिकट पर सांसद बने. वे कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष भी रहे, लेकिन एक आरोप के चलते रहे विवादों में रहे. 2024 में पार्टी ने उनके बेटे को टिकट दिया जो वर्तमान सांसद है.