रायपुर। छत्तीसगढ़ में भाजपा के कद्दावर नेता और हाल ही में रायपुर लोकसभा से सांसद चुने गए बृजमोहन अग्रवाल ने आज प्रदेश के शिक्षामंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है। साय कैबिनेट की बुधवार शाम हुई बैठक में ही श्री अग्रवाल ने अपना इस्तीफा सीएम को सौंपा। उनके इस्तीफे के बाद कैबिनेट ने उन्हें विदाई भी दी। दो दिन पहले ही उन्होंने विधायकी से इस्तीफा दिया था। हरिभूमि डाट कॉम की खबर पर मुहर लग गई है।
उल्लेखनीय है कि आठ बार रायपुर और रायपुर दक्षिण विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करने वाले बृजमोहन अग्रवाल ने दो दिन पहले ही विधानसभा की सदस्यता भी छोड़ दी थी। उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष डॉ. रमन सिंह के घर जाकर अपना इस्ताफा उन्हें सौंपा था। इस दौरान उनके साथ अनेक विधायकों के अलावा बड़ी संख्या में समर्थक भी थे।
मेरे लिए यह एक भावुक क्षण
इस्तीफा देने के बाद सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा था कि, मेरे लिए यह एक भावुक क्षण है और मैंने बड़े भावुक मन से इस्तीफा दिया है। केंद्रीय नेतृत्व ने मुझे देश के सदन में सांसद के रूप में भेजा है। सांसद बनने के बाद विधानसभा से मैंने इस्तीफा दिया है। मैं मेरे समर्थकों को कहना चाहता हूं कि, मैं पहले की तरह आपका मोहन बना रहूंगा।
केंद्र में मंत्री ना बन का मलाल नहीं
इस दौरान केंद्र में मंत्री नहीं बनने के सवाल पर उन्होंने कहा था कि, मुझे कोई मलाल नहीं है और मुझे मेरी पार्टी ने लगातार विभिन्न पदों पर जनता की सेवा करने क़ा अवसर दिया है। वहीं मंत्री पद से इस्तीफा देने के सवाल पर उन्होंने कहा था कि, ये मुख्यमंत्री जी का विशेषाधिकार है।
डहरिया अपना ऑफर और सम्मान अपने पास रखें
पूर्व मंत्री शिव डहरिया ने उन्हें कांग्रेस में शामिल होने का न्योता दिया था। उसके इस न्यौते का जवाब देते हुए सांसद बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि, वे अपना ऑफर और सम्मान अपने पास रखें।