थीम फिट इंडिया फिट जशपुर के तहत विश्व सायकल दिवस के उपलक्ष्य में हॉकी स्टेडियम से निकाली गई सायकल रैली

विश्व सायकल दिवस के उपलक्ष्य में रविवार को सुबह 7 बजे ” फिट इंडिया, फिट जशपुर के तहत जिला प्रशासन के संयुक्त तत्वावधान में सायकल रैली का आयोजन हॉकी स्टेडियम जशपुर से निकाली गई. रैली का शुभारंभ कलेक्टर रोहित व्यास ने किया और सायकल रैली में शामिल होकर लोगों को प्रतिदिन सायकल चलाने के लिए प्रेरित किया. रैली हॉकी स्टेडियम से होते हुए बस स्टैंड, पुरानी टोली, महाराजा चौक होते हुए हॉकी स्टेडियम में समापन किया गया.

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विधायक जशपुर रायमुनी भगत ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा पहले जमाने में सायकल का उपयोग आम नागरिक बहुत करते थे. धीरे धीरे आधुनिक सुविधाएं बढ़ने के कारण मोटर गाड़ी कार बस का लोग उपयोग करने लगें उन्होंने कहा कि इसके कारण व्यक्ति के शरीर में आलसी पन आ गया है. उन्होंने लोगों को प्रतिदिन सायकल चलाने के लिए अपील की है.

कलेक्टर रोहित व्यास ने अपने सम्बोधन में कहा कि विश्व सायकल दिवस आगामी 3 जून को है. इसी कड़ी में भारत सरकार के निर्देशानुसार रविवार को सायकल रैली का आयोजन किया गया. इसका उद्देश्य स्वस्थ शरीर और निरोग रहने के लिए चालू किया गया है. उन्होंने कहा कि शरीर को तंदुरुस्त रखने के लिए प्रत्येक व्यक्ति को योग, सायकिल चलाना, सुबह का सैर या अन्य गतिविधियों को अपनाना चाहिए ताकि शरीर में स्फूर्ति बनी रहें। सायकल चलाने से बीपी, हाइपरटेंशन, मानसिक समस्या और जीवनशैली बेहतर रहता है.

कलेक्टर ने कहा बच्चों युवाओं और आम नागरिक को प्रतिदिन या कम से कम रविवार को अनिवार्य रूप से सायकल चलाने की अपील की. कलेक्टर ने भी कहा की अपनी दिनचर्या में सायकल को शामिल करेंगे और रविवार को सायकल जरूर चलाएंगे.

इस अवसर पर जनपद पंचायत अध्यक्ष गंगा राम, एसडीएम ओंकार यादव, डिप्टी कलेक्टर विश्वास राव मस्के, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अनिल सोनी, विकास खंड शिक्षा अधिकारी श्रीमती कल्पना टोप्पो, आम नागरिक जनप्रतिनिधिगण और स्कूली बच्चे, उपस्थित थे.

उल्लेखनीय है कि सायकल चालाना व्यक्ति के बहुत अच्छी एक्सरसाइज है. इससे दिल के फेफड़े और मांसपेशियां मजबूत होती हैं. मोटापा और डायबिटीज, हाईब्लड प्रेशर और मांसपेशियों में तनाव कम होता है. सायकल चलाने से प्रदूषण नहीं होता क्योंकि सायकल ईंधन से नहीं चलता है. इससे कार्बन उत्सर्जन कम होता है जिससे जलवायु परिवर्तन साकारात्मक रहता है। सायकल में लागत बहुत कम लगता है. पेट्रोल, डीजल और रख रखाव की आवश्यकता नहीं पड़ती है. भीड़ और ट्रैफिक में आसानी से निकला जा सकता. बड़े शहरों और महानगरों में सायकल से ट्रैफिक आसानी से पार किया जा सकता है. सायकल न केवल साधारण परिवहन का साधन है बल्कि यह स्वस्थ पर्यावरण और समाज के लिए बहुत उपयोगी है.

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