गोपालगंज के भोरे थाना क्षेत्र के सिसई गांव में छत्तीसगढ़ की एसीबी की टीम ने 776 करोड़ के घोटाले का आरोपी अरुणपति त्रिपाठी को पुलिस के सहयोग से गिरफ्तार किया गया है. आरोपी को एसीबी की टीम अपने साथ छत्तीसगढ़ लेकर गई है.
पुलिस अधीक्षक स्वर्ण प्रभात ने अरुण पति त्रिपाठी की गिरफ्तारी की पुष्टि करते हुए बताया कि ACB की टीम ने 11 अप्रैल 2024 को गोपालगंज पुलिस के सहयोग से सिसई गांव में छापेमारी की थी. इस दौरान अपने रिश्तेदार के घर रह रहे अभियुक्त अरुण पति त्रिपाठी को गिरफ्तार किया गया. वह छत्तीसगढ़ के सेक्टर 9 भिलाई निवासी प्रकाश पति त्रिपाठी के बेटे अरुणपति त्रिपाठी हैं. उनके ऊपर 776 करोड़ रुपए घोटाले का आरोप है.
बता दें कि अरुणपति UPSC पास कर ITS कैडर के पदाधिकारी थे. उन पर ED का केस है, जिसमें ये 9 माह जेल में थे. मोबाइल बंद कर जनवरी से ही फरार थे. इनका एक बेटा और एक बेटी अमेरिका में इंजीनियरिंग कर रहे हैं. छत्तीसगढ़ स्टेट मार्केटिंग कॉर्पोरेशन लिमिटेड के प्रबंध संचालक और निर्देशक संचार मंत्रालय दिल्ली में पोस्टेड है.
गिरफ्तारी के बाद पूर्व विशेष सचिव अरुणपति त्रिपाठी का वीडियो भी सामने आया है, जिसमें वे कह रहे कि मेरे ऊपर इल्जाम लगाया है कि शराब में कमीशन हुई है. इसी मामले में ईडी ने केस दर्ज किया है. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार बताया जाता है कि छत्तीसगढ़ से 776 करोड़ रुपए के शराब घोटाले का मामला आया था, जिसमें सरकार ने नए सिरे से जांच के लिए एसीबी और EOW ने एफआईआर दर्ज की.
एफआईआर में छत्तीसगढ़ के आबकारी विभाग के पूर्व विशेष सचिव और छत्तीसगढ़ राज्य विपणन निगम लिमिटेड (CSMCL) के एमडी अरुण पति त्रिपाठी समेत 70 लोगों को अभियुक्त बनाया था. इसी मामले में अरुण पति त्रिपाठी फरार चल रहे थे, लेकिन गुप्त सूचना और तकनीकी के आधार पर 11 अप्रैल की रात छत्तीसगढ़ से पांच सदस्यीय टीम ने गोपालगंज पुलिस के सहयोग से भोरे थाना क्षेत्र के सिसई गांव से गिरफ्तार कर ली और उसे अपने साथ छत्तीसगढ़ की ACB पुलिस लेकर रवाना हो गई.