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Chhattisgarh: अधिकारियों के सांठ-गांठ से चल रही अवैध खदानें, खनन में प्रयुक्त वाहन सील करने के तुरंत बाद वाहन मौके से गायब

जैजैपुर: खनिज विभाग को पत्रकारों द्वारा दी गई सूचना के आधार पर ग्राम अकलसरा और खम्हरिया के जंगल में चोरी छिपे चल रहे अवैध डोलोमाईट खदान पर कार्यवाही करने के लिए जिले से खनिज अमला पहुंचा हुआ था जिन्होंने पत्रकारों की मौजूदगी में अवैध खनन में प्रयुक्त कोमात्सु खनन मशीन को जब्त करते हुए सील किया लेकिन जैसे ही टीम उक्त स्थल से रवाना हुई जब्त की गई.

मशीन को मशीन मालिकों द्वारा अन्यत्र स्थानान्तरित कर दिया गया ,जिसकी जानकारी मिलने पर एक बार फिर से खनिज अधिकारी के.के. बंजारे से दूरभाष के माध्यम से सम्पर्क करने का प्रयत्न किया गया, लेकिन खनिज अधिकारी द्वारा एक बार भी फोन उठाना या प्रत्यत्तर देना सही नहीं समझा गया, जिससे उनके कार्यवाही पर संदेह किया जाना अनुचित और निराधार नहीं है. तहसीलदार का गैरजिम्मेदाराना जवाब , कहा माइनिंग वालों को फोन करो.

अवैध खनन होने की जानकारी पत्रकारों द्वारा क्षेत्रीय तहसीलदार लक्ष्मीकांत कोरी को फोन के माध्यम से दी गई और प्रतिबंधात्मक कार्यवाही करने की बात की गई तो तहसीलदार साहब ने खनिज विभाग से सम्पर्क करने की बात कहते हुए फोन काट दिया जबकि मामला उनके विभाग ( राजस्व विभाग) से भी जुड़ा हुआ था, लेकिन शायद उनको भी अपने कर्तव्य की याद नहीं आई या शायद कुछ और कारण रहा होगा जो तहसीलदार साहब मौके पर नहीं पहुंचे, जबकि यही तहसीलदार लकड़ी ले जा रहे ट्रैक्टर और रेत परिवहन करने वाले ट्रैक्टरों को रोक कर एक अलग ही तरह की कार्यवाही करते समय ना तो खनिज विभाग की याद आती है और ना ही वन विभाग की. ऋषि राय का बताया जा रहा अवैध खदान.

गौरतलब है कि, अधिकारियों के इस तरह के गैरजिम्मेदाराना रवैये के पीछे उक्त अवैध खदान के संचालक ऋषि राय का दबाव का होना है सुनने में आता है कि, ऋषि राय एक प्रतिष्ठित और दबंग प्रवृत्ती का व्यक्ति है और ऐसा माना जा रहा है कि, हो ना हो उनके द्वारा आर्थिक या मानसिक दबाव डालकर अधिकारियों को कार्यवाही से रोका गया है.

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