5 साल बाद जिंदा मिली ‘मृत’ घोषित बेटी, नोएडा पुलिस की सतर्कता से हुआ चौंकाने वाला खुलासा 

नोएडा के सेक्टर-49 थाना क्षेत्र से पांच साल पहले गायब हुई मां-बेटी को राजस्थान के जोधपुर से सकुशल बरामद कर नोएडा पुलिस ने एक चौंकाने वाला खुलासा किया है. साल 2020 में अवदेश शर्मा ने अपनी पत्नी मंजू और बेटी मानसी की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई थी. लेकिन लंबे समय तक सुराग न मिलने पर पुलिस ने मामले की अंतिम रिपोर्ट दाखिल कर दी.

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इसी दौरान दिल्ली के शाहदरा इलाके में एक अज्ञात बच्ची का शव मिला, जिसे मंजू के ससुराल पक्ष ने पहचान कर मानसी बताया, जबकि अवदेश ने इससे साफ इनकार किया था. इसके बावजूद, पुलिस ने बच्ची को मृत घोषित कर केस बंद कर दिया. यह मामला बाद में हाईकोर्ट तक पहुंचा, लेकिन दो वर्षों में केस बंद कर दिया गया.

अवदेश ने उम्मीद नहीं छोड़ी और अपनी बेटी की जानकारी के लिए एम-आधार ऐप का सहारा लिया. हाल ही में जब मंजू ने आधार में पता बदलने की कोशिश की तो अवदेश के मोबाइल पर OTP आया. इस संदेह के बाद अवदेश ने तुरंत नोएडा पुलिस को जानकारी दी. पुलिस की तकनीकी टीम ने आधार अपडेट से जुड़े मोबाइल नंबर और लोकेशन की जांच शुरू की और महज 10 दिनों में मां-बेटी को जोधपुर से ढूंढ निकाला. दोनों को सुरक्षित बरामद कर कोर्ट में पेश किया गया

अधिकरियों के खिलाफ विभागीय जांच के आदेश

पुलिस कमिश्नर ने इस गंभीर लापरवाही को लेकर तत्कालीन थाना प्रभारी, जांच अधिकारी (IO) और एसीपी समेत पर्यवेक्षण अधिकारियों के खिलाफ विभागीय जांच के आदेश जारी किए हैं.

अवदेश शर्मा ने आरोप लगाया कि उनकी पत्नी मंजू कुछ लड़कों से ऐप के जरिए जुड़ी थी और उसी के चलते वह घर छोड़कर चली गई थी. उन्होंने नोएडा पुलिस और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार जताते हुए कहा कि अगर एम-आधार न होता तो वह अपनी बेटी से कभी नहीं मिल पाते. तकनीकी सहायता और पुलिस की सक्रियता से एक बिछड़ा परिवार फिर से मिल सका है.

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