गोंडा: उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा सरकारी प्राथमिक विद्यालयों के विलय के फैसले को लेकर प्रदेश के कई जिलों में शिक्षकों और अभिभावकों में नाराजगी देखी जा रही है. इसी कड़ी में गोंडा जिले में भी धरना-प्रदर्शन का दौर लगातार जारी है. वहीं दूसरी ओर श्री दयानंद आयुर्वेदिक इंटर कॉलेज, वजीरगंज गोंडा के प्रधानाचार्य अरुण कुमार कौशल ने इस मुद्दे पर अपनी राय रखते हुए एक नई मिसाल पेश की है.
मीडिया से बातचीत में प्रधानाचार्य कौशल ने कहा कि शासन समय-समय पर विद्यालयों की शिक्षा व्यवस्था का अवलोकन कर आवश्यक सुधार के कदम उठाता है, जिससे छात्रों को बेहतर शिक्षा और सुविधाएं मिल सकें. उन्होंने बताया कि आज भी कई ऐसे गरीब परिवार हैं जिनके बच्चों के पास स्कूल आने-जाने का साधन नहीं है. ऐसे में विद्यालय ने अपनी निधि से दो बसों की व्यवस्था कर बच्चों को स्कूल लाने-ले जाने की सुविधा उपलब्ध कराई है.
प्रधानाचार्य कौशल ने यह भी बताया कि स्कूल की नियमित पढ़ाई के अलावा जो बच्चे ट्यूशन नहीं ले पाते, उनके लिए विद्यालय परिसर में ही निशुल्क एक्स्ट्रा क्लास चलाई जाती हैं. इसमें खुद प्रधानाचार्य और अन्य शिक्षक अपनी सेवाएं देते हैं ताकि कोई भी बच्चा शिक्षा से वंचित न रह जाए.
विद्यालय प्रबंधन समय-समय पर छात्रों की पढ़ाई और सर्वांगीण विकास के लिए मदद भी करता रहता है. प्रधानाचार्य कौशल ने कहा कि शिक्षा का उद्देश्य सिर्फ किताबों तक सीमित नहीं रहना चाहिए, बल्कि समाज के अंतिम पंक्ति के छात्र तक पहुंचना चाहिए. उनका यह प्रयास निश्चित ही अन्य विद्यालयों के लिए एक प्रेरणा है.