सोनभद्र में गहराया बिजली-पानी का संकट: कुसाही बढ़ौली पेयजल योजना ठप, ग्रामीण और कांग्रेस कार्यकर्ता आंदोलित!

सोनभद्र, : भीषण गर्मी के इस मौसम में सोनभद्र जिले में बिजली और पानी का संकट विकराल रूप धारण कर चुका है, जिससे आम जनजीवन बुरी तरह प्रभावित हो रहा है। जिले के विभिन्न हिस्सों में नागरिक असुविधाओं के खिलाफ लगातार विरोध प्रदर्शन देखने को मिल रहे हैं.

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इसी कड़ी में, कुसाही बढ़ौली पेयजल योजना के एक सप्ताह से ठप होने से आक्रोशित ग्रामीणों और कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने बुधवार को जल निगम के अधिशासी अभियंता कार्यालय पर जोरदार प्रदर्शन किया। यह प्रदर्शन कांग्रेस के पूर्व प्रवक्ता शत्रुंजय मिश्रा के नेतृत्व में आयोजित किया गया.

 

प्रदर्शनकारियों ने परियोजना प्रबंधन और संबंधित अधिकारियों के खिलाफ जमकर नारेबाजी की और तत्काल पेयजल आपूर्ति बहाल करने की मांग की। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि जल्द ही समस्या का समाधान नहीं हुआ, तो वे भूख हड़ताल पर बैठने को मजबूर होंगे.

 

कांग्रेस के पूर्व प्रवक्ता शत्रुंजय मिश्रा ने इस अवसर पर अपनी बात रखते हुए कहा कि कुसाही बढ़ौली पेयजल योजना के एक सप्ताह से पूरी तरह ठप होने के कारण पेयजल के लिए जनता में हाहाकार मचा हुआ है.

उन्होंने बताया कि भीषण गर्मी में पानी न मिलने से लोग त्रस्त हैं, और पानी के टैंकरों की आपूर्ति भी सुचारू रूप से नहीं हो पा रही है, जिससे जनता बेहाल है। मिश्रा ने आरोप लगाया कि जिला प्रशासन और जल निगम के अधिकारी इस गंभीर समस्या से पूरी तरह अनभिज्ञ हैं और जनता की परेशानी पर कोई ध्यान नहीं दे रहे हैं.

 

मिश्रा ने बीजेपी सरकार पर भी निशाना साधा और कहा कि आम जनता को बिजली और पानी जैसी मूलभूत सुविधाओं के लिए सड़कों पर संघर्ष करना पड़ रहा है.उन्होंने इस दयनीय स्थिति के लिए अधिकारियों के साथ-साथ जिले के जनप्रतिनिधियों को भी जिम्मेदार ठहराया.

उन्होंने आगे बताया कि कुसाही बढ़ौली पेयजल योजना का उद्देश्य लगभग 115 गांवों में पानी उपलब्ध कराना था, लेकिन जल निगम के अधिकारियों और जिला प्रशासन की लापरवाही व उदासीनता के चलते यह योजना केवल कुछ ही गांवों में पेयजल आपूर्ति कर पा रही थी, और अब तो यह भी पिछले एक सप्ताह से पूरी तरह बाधित है.

सोनभद्र में गहराते इस संकट ने स्थानीय लोगों के सब्र का बांध तोड़ दिया है और यदि जल्द ही इस समस्या का समाधान नहीं किया गया, तो आने वाले दिनों में विरोध प्रदर्शन और भी उग्र हो सकते हैं.

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