पंजाब-हरियाणा के शंभू बॉर्डर पर आंदोलन कर रहे किसानों ने शंभू रेलवे स्टेशन पर रेलवे ट्रैक जाम कर दिया है. बॉर्डर पर नेशनल हाईवे बंद कर डटे किसान शंभू बॉर्डर के पास ही रेलवे ट्रैक पर बैठ गए हैं. इस दौरान पुलिस ने उन्हें रोकने की कोशिश की, जिससे पुलिस-किसानों की धक्कामुक्की हुई. मगर, किसानों ने बैरिकेडिंग तोड़ दी और ट्रैक पर बैठ गए.
किसान सरकार से युवा नेता नवदीप सिंह जलबेड़ा समेत 3 किसानों की रिहाई की मांग कर रहे हैं. इस संबंध में पहले उनकी हरियाणा और पंजाब सरकार से मीटिंग हुई थी, जिसके बाद रिहाई का भरोसा मिला था. जिसके बाद किसानों ने सरकार को 16 अप्रैल तक का समय दिया था. सरकार ने रिहाई नहीं की तो वे ट्रैक पर उतर आए.
किसानों के प्रदर्शन के चलते 34 ट्रेन प्रभावित हुई हैं. 11 ट्रेनों को पूरी तरह से कैंसिल किया गया है, जबकि कई ट्रेनों के रूट डायवर्ट किए गए हैं तो कुछ के रूट शॉर्ट किए गए हैं.
किसान नेता जगजीत डल्लेवाल ने कहा कि सरकार ने भरोसा देकर भी उन्हें रिहा नहीं किया. हमारा किसान साथी जेल में मरणव्रत पर बैठा है. जब तक सरकार उसे रिहा नहीं करती, हम ट्रैक खाली नहीं करेंगे. अगर सरकार अभी रिहा कर दे तो हम 10 मिनट में हट जाएंगे.
आम लोगों की परेशानी को लेकर डल्लेवाल ने कहा कि हमारा साथी जिंदगी और मौत की लड़ाई लड़ रहा है, इसमें लोग हमें सहयोग करें.
आंदोलन की अगुआई कर रहे किसान नेता सरवण सिंह पंधेर ने कहा कि हम रेल नहीं रोकना चाहते थे. मगर, हमें इसके लिए मजबूर करना सरकार का फेलियर है. सरकार ने 16 अप्रैल तक रिहाई का भरोसा देकर वादाखिलाफी की है. उन्होंने कहा कि रेल रोको आंदोलन अनिश्चितकाल के लिए रहेगा.
पंधेर ने कहा कि लोकसभा चुनाव के दौरान हम भाजपा के साथ-साथ विपक्ष को भी सवाल पूछेंगे. उन्हें देश को WTO से बाहर निकालने के बारे में स्टैंड पूछा जाएगा. लखीमपुर खीरी और शुभकरण मसले पर दोषियों को कैसे सजा दिलवाएंगे, इस बारे में सवाल किए जाएंगे?
पंधेर ने कहा कि विपक्ष ने भी कुछ मांगों पर क्लियर नहीं किया है. इसमें विशेष तौर पर मनरेगा में एक साल में 200 दिन काम और 700 रुपए के हिसाब से दिहाड़ी शामिल है.
पंधेर ने कहा कि हमने पंजाब के भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सुनील जाखड़ का चैलेंज कबूल कर लिया है. हमने 23 अप्रैल का टाइम रखा है. पंधेर ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा और खेती-बाड़ी मंत्री आएं और उनसे बात करे.
संयुक्त किसान मोर्चा (गैर राजनीतिक) एवं किसान-मजदूर मोर्चा के आह्वान पर 13 फरवरी से किसान आंदोलन चल रहा है. पुलिस ने कई किसान नेताओं को गिरफ्तार भी किया. पहले पुलिस ने अनीश खटकड़ को गिरफ्तार किया. वह जींद जेल में बंद हैं. 28 मार्च को अंबाला पुलिस ने युवा किसान नेता नवदीप सिंह जलबेड़ा और गुरकीरत सिंह को गिरफ्तार किया. ये दोनों अंबाला सेंट्रल जेल में हैं.