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उत्तर प्रदेश-छत्तीसगढ़ बॉर्डर पर वन विभाग की बड़ी कार्रवाई, ढाई लाख की लकड़ी जब्त

सोनभद्र :  उत्तर प्रदेश की सीमा से लगे छतीसगढ़़ के जंगल से यूपी के जंगलों के रास्ते खैर की कीमती लकड़ी की तस्करी की जा रही है.

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खैर की लकड़ी की तस्करी में जुटे लोगों की इन दिनों सक्रियता बढ़ गई है. जंगलों के रास्ते खैर की लकड़ी का कटान कर चोरी-छुपे परिवहन करते हुए वन विभाग की नज़र पड़ने पर वनकर्मियों ने सोनभद्र जिले के बार्डर क्षेत्र नवाटोला से पकड़ कर पिकअप सहित 58 बोटा खैर की लकड़ी सीज कर दिया है.

इस दौरान अंधेरे का लाभ उठा कर पिकअप चालक और लकड़ी तस्कर फरार होने में कामयाब हो गए. रेंजर राजेश सिंह ने बताया कि कत्था लकड़ी का तस्कर कमलेश यादव पुत्र महेंद्र यादव निवासी बलंगी जनपद बलरामपुर, छतीसगढ़ 58 बोटा खैर की कीमती लकड़ी छत्तीसगढ़ के जंगल से काट कर यूपी के जरहा रेंज क्षेत्र नेमना गांव टोला नवाटोला के रास्ते कहीं बेचने की फिराक में जा रहा था कि इसी बीच मुखबिर की सूचना पर जरहा वन रेंज की सक्रिय टीम ने छापा मारी कर बार्डर क्षेत्र में लकड़ी सहित पिकप को धर दबोचा.

इस दौरान अंधेरे का फायदा उठा कर पिकअप चालक और लकड़ी तस्कर फरार होने में कामयाब हो गए. पिकअप सहित खैर की लकड़ी को रेंज परिसर में लाकर गिनती और नापी की गयी तो कुल 58 बोटा कत्था की लकड़ी जिसकी अनुमानित कीमत ढाई लाख आंकी गई है.

पिकअप सहित खैर की लकड़ी को सीज कर उत्तर प्रदेश वन उपज परिवहन नियमावली की धारा 41/42 के अंतर्गत विधिक कार्रवाई के बाद आरोपियों की तलाश में वन कर्मी जुट गए हैं. खैर की लकड़ी बरामदगी करने वाली टीम में रेंजर राजेश सिंह, वन दरोगा लवलेश सिंह, सतेंद्र सिंह सहित अन्य वनकर्मी शामिल रहें हैं.

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