गौरव भाटिया का पतलून विवाद दिल्ली हाईकोर्ट पहुंचा, नेता ने सोशल मीडिया से हटाने की मांग की

बीजेपी प्रवक्ता और सीनियर वकील गौरव भाटिया ने सोशल मीडिया पर वायरल हुए एक आपत्तिजनक वीडियो को हटाने के लिए दिल्ली हाईकोर्ट का रुख किया है। यह वीडियो एक टीवी डिबेट शो के दौरान उनका था, जिसमें वह कथित तौर पर बिना पैंट/पायजामा सिर्फ कुर्ता पहने दिखाई दिए थे। गौरव भाटिया का दावा है कि इस वीडियो के कारण सोशल मीडिया पर उनके खिलाफ अपमानजनक टिप्पणियाँ और पोस्ट किए गए हैं।

कोर्ट में सुनवाई के दौरान जस्टिस अमित बंसल ने कहा कि अदालत इस मामले में सामग्री की जांच करेगी और आदेश पारित करेगी। उन्होंने स्पष्ट किया कि निजी अंगों का उल्लेख करने वाली अपमानजनक सामग्री पर रोक लगाई जा सकती है, लेकिन घटना से संबंधित व्यंग्यात्मक पोस्ट पर प्रतिबंध नहीं लगाया जाएगा।

गौरव भाटिया की ओर से पेश वकील राघव अवस्थी ने कहा कि वीडियो में दिखाई गई स्थिति गलती से हुई और इससे उनकी निजता का उल्लंघन हुआ है। उन्होंने कोर्ट से कहा कि आपत्तिजनक टिप्पणियों और पोस्ट को हटाया जाना चाहिए। गौरव भाटिया ने सोशल मीडिया पर ‘नंगा’ जैसे अपमानजनक शब्दों के इस्तेमाल को रोकने की भी मांग की।

मामले में गूगल की ओर से पेश वकील ममता रानी झा ने कहा कि जिन लिंक्स को हटाने की मांग की गई है, उनका घटना से प्रत्यक्ष संबंध नहीं है और कुछ लिंक समाचार प्रकाशनों से संबंधित हैं। कोर्ट ने कहा कि एकपक्षीय निषेधाज्ञा जारी करने में बहुत सावधानी बरतनी होगी।

गौरव भाटिया का यह कदम सोशल मीडिया और डिजिटल प्लेटफॉर्म पर निजता के अधिकार और मानहानि के मुद्दे को लेकर महत्वपूर्ण है। यह मामला यह सवाल उठाता है कि क्या किसी सार्वजनिक व्यक्ति को व्यक्तिगत और संवेदनशील स्थिति में अपमानजनक सामग्री से बचाया जा सकता है।

इससे पहले वीडियो वायरल होने के बाद सोशल मीडिया पर कई लोग कमेंट कर चुके थे, जिनमें से कई आपत्तिजनक भी थे। गौरव भाटिया ने इन पोस्ट के खिलाफ हाईकोर्ट में दखल देने का फैसला किया। उन्होंने यह भी कहा कि उनका व्यक्तिगत और राजनीतिक प्रतिष्ठा दशकों में अर्जित की गई है और इसे ऐसे सामग्री से प्रभावित नहीं होने देना चाहिए।

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