बिलासपुर में सेंट्रल GST की टीम ने 2 थोक ड्रायफ्रूट व्यापारी की दुकान और गोदाम में छापेमारी की। यहां बुधवार दोपहर से लेकर देर शाम तक अफसर दस्तावेज खंगालते रहे। बताया जा रहा है कि दोनों दुकानों में टैक्स चोरी के साथ ही गड़बड़ी की आशंका है। लिहाजा, टीम ने दोनों दुकानों से दस्तावेज, कंप्यूटर, लैपटॉप और हिसाब-किताब की डायरी जब्त की है।
सेंट्रल GST की टीम ने बुधवार को व्यापार विहार में ड्रायफ्रूट व्यापारियों की दुकान और गोदाम में एक साथ रेड मारी। दोपहर से देर शाम तक लेन देन से संबंधित दस्तावेज, बिल, रिटर्न आदि से संबंधित दस्तावेजों की जांच की। दोनों जगहों पर मिले कम्प्यूटर सिस्टम को भी टीम के सदस्यों ने खंगाला।
बिक्री से जुड़े बिल, डिजिटल डेटा की पड़ताल
व्यापार विहार में ड्रायफ्रूट कारोबारी गोपालदास टोडरमल और पवन ट्रेडर्स की दुकानें हैं। कार्रवाई के दौरान GST की टीम ने न केवल दोनों दुकानों पर बल्कि उनके जुड़े हुए गोदामों पर की भी जांच की। घंटों चली इस छानबीन में टीम ने बिक्री से जुड़े बिल, वाउचर और डिजिटल डेटा की गहन पड़ताल की।
टैक्स चोरी की मिली थी शिकायत
बताया जा रहा है कि ये दोनों दुकानें शहर की सबसे बड़ी ड्रायफ्रूट थोक विक्रेता हैं, जिनका संचालन एक ही मालिक द्वारा किया जाता है। GST विभाग को लंबे समय से इन दुकानों में कर चोरी की शिकायतें मिल रही थीं।
दोनों दुकानों से रोजाना दो से तीन लाख रुपए तक की बिक्री होती है, लेकिन GST रिटर्न में इस आंकड़े को काफी कम दिखाया जा रहा था। विभाग ने जब पूरी तरह से जानकारी जुटाई। इसके बाद ही छापेमारी की गई है।
कंप्यूटर और दस्तावेजों की जांच जारी
जांच के दौरान GST की टीम ने दुकानों में मौजूद लैपटाप और कंप्यूटर में दर्ज रिकॉर्ड को देखा। इसमें आय-व्यय की जानकारी ली गई। इनमें टैक्स चोरी से जुड़े कई महत्वपूर्ण दस्तावेज मिलने की संभावना जताई जा रही है। हालांकि टीम ने इस कार्रवाई को लेकर आधिकारिक जानकारी नहीं दी है।
एक दिन पहले ट्रांसपोर्टर के ऑफिस में पहुंची थी टीम
इससे पहले मंगलवार को GST की टीम ने ट्रांसपोर्ट नगर स्थित ट्रांसपोर्टर के ऑफिस में रेड मारी थी। यहां भी पूरे दिन टीम ने दस्तावेज, रिटर्न आदि से जुड़े दस्तावेजों की जांच की। इस दौरान ट्रांसपोर्टर और उनके कर्मचारी भी टीम के साथ थे। जांच में उन्होंने टीम को सभी तरह के दस्तावेज उपलब्ध कराए।
क्लोजिंग मंथ, इसलिए GST की कार्रवाई तेज
वित्तीय वर्ष 2024-25 का यह आखिरी महीना है। ऐसे में टैक्स की चोरी और भुगतान नहीं करने वाले कारोबारियों के संस्थानों में GST की कार्रवाई तेज हो गई है। टैक्स चोरी करने वाले कारोबारियों की सूची तैयार कर टीम रोज नए-नए जगहों पर रेड कर रही है। ताकि टैक्स चोरी रोकी जा सके।