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गुरुजी या फिर भाजपा नेता, कौन है राजकुमार दुबे, बिना स्कूल गए मिल रहा वेतन, लगा गंभीर आरोप

Uttar Pradesh: गोंडा जिले के भाजपा नेता राजकुमार दुबे पर गंभीर आरोप लगे हैं, इन आरोपों में सरकारी विद्यालय में फर्जी दस्तावेजों के माध्यम से नौकरी प्राप्त करना, सरकारी धन का दुरुपयोग करना और आय से अधिक संपत्ति अर्जित करना शामिल है. शिकायतकर्ता शिवकुमार तिवारी का कहना है कि राजकुमार दुबे, जो बालक भगवान लघु माध्यमिक विद्यालय भट्टपूरवा में अनुचर के पद पर तैनात हैं, फर्जी डिग्रियां पेश करके इस पद पर कार्यरत हैं, तिवारी के अनुसार, दुबे कभी विद्यालय नहीं जाते, न ही अपनी हाजिरी लगवाते हैं, फिर भी उन्हें 60,000 रुपये महीने की सैलरी जिला कोषागार से मिल रही है.

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तिवारी का आरोप है कि, दुबे ने गांव के कुछ खास लोगों से रजिस्टर मंगवाकर विद्यालय में अपनी फर्जी हाजिरी लगवायी है, जिससे वे नियमित रूप से सैलरी प्राप्त कर रहे हैं, तिवारी ने गजट की जांच की मांग की है और आरोप लगाया कि, दुबे की सैलरी की रिकवरी भी की जानी चाहिए. इसके अलावा, तिवारी ने यह भी दावा किया कि दुबे के पास अत्यधिक संपत्ति है, जो उनकी सैलरी से मेल नहीं खाती, तिवारी के मुताबिक, दुबे के पास 100 बीघा ज़मीन, लक्ष्मीग्राम में 4000 वर्ग फीट का मकान और तीन लग्जरी कारें हैं, जिनकी कुल कीमत करोड़ों में है, तिवारी का आरोप है कि दुबे ने अपनी काली कमाई से ये संपत्तियां अर्जित की हैं, और इनकी जांच की जानी चाहिए.

इसके अतिरिक्त, राजकुमार दुबे पर एक और गंभीर आरोप यह भी है कि, उनके पास लाइसेंसी रिवाल्वर, पिस्टल और राइफल जैसी सुरक्षा सामग्री है, जो नियमों के खिलाफ है. तिवारी के अनुसार, ये हथियार बिना किसी उचित कारण और प्रशासनिक अनुमोदन के उनके पास हैं, और इन्हें काली कमाई से खरीदा गया है.

इस मामले के सामने आने के बाद, गोंडा पुलिस अधीक्षक विनीत जायसवाल ने जांच के आदेश दिए हैं. साथ ही, गोंडा जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी अतुल कुमार तिवारी ने भी इस मामले की जांच के लिए इटियाथोक के खंड शिक्षा अधिकारी को जांच अधिकारी नियुक्त किया है. खंड शिक्षा अधिकारी को विद्यालय के प्रबंधक और राजकुमार दुबे से संबंधित सभी अभिलेखों की जांच करने के निर्देश दिए गए हैं. हालांकि अभी तक अभिलेखों की उपलब्धता सुनिश्चित नहीं हो सकी है, लेकिन जांच प्रक्रिया जारी है और कार्रवाई की संभावना जताई जा रही है.

बेसिक शिक्षा विभाग ने भी इस मामले को गंभीरता से लिया है, लेकिन आय से अधिक संपत्ति की जांच जिलाधिकारी के माध्यम से कराई जाएगी, क्योंकि यह शिक्षा विभाग के अधिकार क्षेत्र में नहीं आता. इसके अलावा, एक और गंभीर आरोप यह भी है कि राजकुमार दुबे बिना किसी प्रशासनिक अनुमोदन के गनर के साथ खुलेआम घूमते हैं. इसका एक फोटो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है, और पुलिस ने इस संबंध में भी जांच शुरू कर दी है.

यह मामला अब राजनीतिक और प्रशासनिक स्तर पर चर्चा का विषय बन चुका है, और उम्मीद जताई जा रही है कि, जांच पूरी होने के बाद दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी. गोंडा जिले में यह मामला अब एक बड़ा विवाद बन गया है, और जनता की नजरें जांच के परिणाम पर टिकी हुई हैं.

 

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