Telangana Court Verdict: तेलंगाना के मंचिरयाला जिले में शराब पीकर गाड़ी चलाने वाले दोषियों के लिए एक नया और अनोखी सजा का तरीका अपनाया गया है. अब शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों को जुर्माने नहीं भरना पड़ेगा और न ही उनका वाहन जब्त होगा, बल्कि उन्हें अस्पताल में सफाई का काम करना होगा. मंचिरयाला कोर्ट के प्रथम श्रेणी न्यायाधीश उपनिषदवी ने 24 दोषियों को माता शिशु आरोग्य केंद्र की सफाई करने का आदेश दिया. ये फैसला ट्रैफिक पुलिस ने शराब पीकर वाहन चलाने वाले लोगों की बढ़ती संख्या को देखते हुए लिया है.
इस अनोखे फैसले को लेकर न्यायाधीश ने कहा कि शराब पीकर गाड़ी चलाने से न केवल आरोपी की जान जोखिम में पड़ती है, बल्कि दूसरों के लिए भी ये खतरनाक साबित हो सकता है. उन्होंने ये भी कहा कि इस सजा से दोषियों को अपनी गलती का एहसास होगा और शायद उनका नजरिया बदल सके. पुलिस ने बताया कि कई बार काउंसलिंग और चेतावनियों के बावजूद लोगों के व्यवहार में कोई बदलाव नहीं आ रहा था, इसलिए अब उन्हें इस सजा के जरिए एक वास्तविक अनुभव मिलेगा.
शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की संख्या में लगातार इजाफा
हाल के दिनों में मंचिरयाला जिले में शराब पीकर गाड़ी चलाने वालों की संख्या लगातार बढ़ रही है. पुलिस अधिकारियों के अनुसार कई लोग सुरक्षा बैरिकेड्स को पार कर जाने की कोशिश करते हैं ताकि वे पकड़े न जाएं. इस बढ़ते खतरे को देखते हुए पुलिस ने ये कदम उठाया है, ताकि शराबी ड्राइवरों को सख्त सजा दी जा सके और दुर्घटनाओं को कम किया जा सके.
क्या यह सजा बनेगी असरदार?
मंचिरयाला कोर्ट का ये फैसला समाज में शराब पीकर गाड़ी चलाने के खतरे के प्रति जागरूकता बढ़ाने का एक नया तरीका हो सकता है. हालांकि इस फैसले का प्रभाव अब देखने की बात होगी. क्या इस फैसले से घटनाओं की संख्या में कमी आएगी या ये सिर्फ एक अस्थायी हल रहेगा?