छत्तीसगढ़ में पर्यावरण क्लीयरेंस, औद्योगिक लाइसेंस, माप-तौल प्रमाणन, टाउन प्लानिंग अनुमोदन और जल संसाधन से संबंधित अनुमतियां जैसी 13 सेवाएं अब लोक सेवा गारंटी के दायरे में आएंगी। इससे प्रमुख विभागों की इन सेवाओं का लाभ लोगों को 7 से 60 दिन के भीतर मिल जाएगा।
ईज ऑफ डुइंग बिजनेस को बढ़ावा देने के लिए यह प्रक्रिया लागू की गई है। इन विभागों में छत्तीसगढ़ पर्यावरण संरक्षण मंडल, सीईसीबी, वाणिज्य और उद्योग, विधिक माप विज्ञान, नगर तथा ग्राम निवेश और जल संसाधन विभाग शामिल हैं। इससे किसी की काम की मंजूरी और अनुमति की प्रक्रिया तय समयसीमा में पूरी होगी, जिससे पारदर्शिता, कार्यक्षमता बढ़ेगी।
नई व्यवस्था के तहत अगर कोई विभाग समय पर सेवा प्रदान नहीं करता, तो संबंधित अधिकारियों की जवाबदेही तय की जाएगी। शेष|पेज 19
राजस्व विभाग को निर्देश– सुशासन तिहार में आए आवेदनों का प्राथमिकता से करें निराकरण
मुख्यमंत्री साय ने शनिवार को सीएम हाउस में राजस्व विभाग के कार्यों की समीक्षा की। इस दौरान आम नागरिकों को राजस्व सेवाओं का त्वरित और सहज लाभ उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। उन्होंने सुशासन तिहार के दौरान प्राप्त आवेदनों के निराकरण को सर्वोच्च प्राथमिकता पर रखने और सभी आवेदनों का त्वरित समाधान सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।
उन्होंने फौती–नामांतरण की प्रक्रिया में किसी भी प्रकार की लापरवाही न बरतें और समय-सीमा में कार्य पूर्ण करने के निर्देश देते हुए कहा कि विधिक वारिसान के पक्ष में फौती नामांतरण समय पर सुनिश्चित करें। कलेक्टरों को निर्देश देते हुए कहा कि तय समय में नामांतरण न होने पर संबंधित पटवारियों पर सख्त कार्यवाही करें।
तेजी-पारदर्शी तरीके से मिलें सेवाएं, यही लक्ष्य: साय
सीएम विष्णु देव साय ने कहा कि सरकार का लक्ष्य है छत्तीसगढ़ में हर नागरिक और व्यवसायी को सरकारी सेवाएं तेजी और पारदर्शी तरीके से मिलें। लोक सेवा गारंटी एक्ट में 13 अहम सेवाओं को शामिल करना इस दिशा में बड़ा कदम है।